कोटा की शान किशोर सागर और उसके आस-पास का इलाका खूबसूरती के दीवानों को तेजी से अपनी ओर आकर्षित करने लगा है। बच्चों अकुलाहट से लेकर हर युवा दिल की धड़कन इस ओर खिंची चली आती है। वहीं बुजुर्गों को सुकून की तलाश बरबस ही यहां खींच लाती है। आंकड़ों पर गौर करें तो यह इलाका पूरे राजस्थान में सबसे ज्यादा विजिटर्स लाने वाली जगहों में शुमार होने लगा है। तभी तो KST के नाम से मशहूर किशोर सागर तालाब की पाल पर हसीं शाम गुजारने वालों की संख्या सालाना 10 लाख से ज्यादा हो गई है। वहीं 60 हजार लोग जॉय ट्रेन का लुत्फ लेने आ चुके हैं। छत्रविलास उद्यान आने वालों का आंकड़ा 3 लाख और चौपाटी पर चटपटी चाट खाने वालों की संख्या भी दो लाख को पार कर चुकी है। बड़ी बात यह है कि इस आंकड़े में सुबह शाम आने वाले हजारों जॉगर्स को तो जोड़ा ही नहीं गया। यदि उन्हें भी जोड़ दिया जाए तो यह आंकड़ा तीन से चार गुना बढ़ जाएगा।
यह भी पढ़ें
दिसंबर तक आबाद हो जाएगा मुकुंदरा हिल्स टाइगर रिजर्व, गूंजेगी तीन टाइगर्स की दहाड़ दुनिया भर में मची सेवन वंडर्स की धूम अकेले सेवन वंडर्स की बात करें तो सितंबर 2013 में निर्माण के बाद से लेकर अब तक चार सालों में 20 हजार से ज्यादा सैलानी इसकी खूबसूरती को निहारने आ चुके हैं। सामान्य दिनों में भी 37,500 हजार से ज्यादा लोग हर माह सेवन वंडर्स देखने आते हैं। इन न्यू टूरिस्ट डेस्टीनेशन का रखरखाव कर रही कोटा यूआईटी को सालाना 40 लाख रुपए की कमाई भी हो रही है। दुनिया के सात अजूबों को एक जगह देख पाना दर्शकों के लिए भी किसी अजूबे से कम नहीं होता। सेल्फी के दीवानों का तो यहां मेला ही लगा रहता है।
यह भी पढ़ें
मुकुंदरा हिल्स को आबाद करेंगे रणथंभौर के बाघ अब होगा कॉन्ट्रेक्ट पर संचालन सेवन वंडर्स का संचालन नगर विकास न्यास की ओर से किया जा रहा था, लेकिन कार्मिकों की कमी के चलते एक सितम्बर से इसे कॉन्ट्रेक्ट पर दे दिया। टिकटों की दरें यथावत रहेंगी। सेवन वंडर्स में आने वाले पर्यटकों में सर्वाधिक संख्या में राजस्थान और कोटा के आस-पास के लोग शामिल हैं। विदेशी पर्यटकों की संख्या कम रही है। यह भी पढ़ें