यह भी पढ़ें
Court News : अदालत पहुंचा स्वीमिंग पूल का मामला
राम नगर बूंदी निवासी रणवीर सिंह ने 9 मार्च 2010 को एसीबी बूंदी में शिकायत दी थी। इसमें कहा था कि उसके रिश्तेदारों रघु, चिन्टू व प्रहलाद समेत अन्य के खिलाफ चोरी, लूटपाट व छीना झपटी की शिकायत दर्ज है। इस मामले को रफा-दफा करने और उसके रिश्तेदारों को गिरफ्तार नहीं करने की एवज में रामनगर पुलिस चौकी के हेड कांस्टेबल त्रिलोक सिंह मीणा 5000 रुपए रिश्वत की मांग कर रहा है। लेकिन वह रिश्वत नहीं देना चाहता। रिश्वत नहीं देने पर उसके रिश्तेदारों को गिरफ्तार करने और मुकदमा दर्ज करने की धमकी दे रहा है। इस शिकायत पर एसीबी ने सत्यापन कराया। जिसमें 4000 रुपए की मांग करना सही पाया गया।
यह भी पढ़ें
जिसकी दहशत से दहल उठा था पूरा कोटा, वो आँखों में मिर्ची झोंकने वाला चढ़ा पुलिस के हत्थे
सहायक निदेशक अभियोजक एहसान अहमद ने बताया कि एसीबी ने 11 मार्च को जब ट्रेप की कार्यवाही की और परिवादी को रिश्वत राशि लेकर भेजा लेकिन, आरोपी को शक होने पर उसने राशि नहीं ली। उसने फरियादी से देसी मुर्गा लाने को कहा। इस पर उसने पड़ोस की दुकान से 200 रुपए का देसी मुर्गा लाकर हैड कांस्टेबल को दिया था। वहीं मांग का सत्यापन पाए जाने पर एसीबी ने हेड कांस्टेबल त्रिलोक सिंह मीणा के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर उसे गिरफ्तार किया था। इस मामले में अभियोजन पक्ष की ओर से 23 गवाहों के बयान दर्ज करवाए गए।
यह भी पढ़ें
कोटा में खूनी संघर्ष: पहले जुबान चली फिर लाठी-सिरये और तलवारें, सिर फटे
सभी पक्षों को सुनने के बाद भ्रष्टाचार निवारण न्यायालय ने मामले की गम्भीरता को देखते हुए आरोपी हेड कांस्टेबल नटावा निवासी त्रिलोक सिंह मीणा को रिश्वत मांगने का दोषी पाए जाने पर 4 साल कठोर कैद और 10000 रुपए जुर्माने की सजा सुनाई।