दहेज में 1 करोड़ रुपए, बारातियों के लिए सोने के सिक्के और बंगले की मांग करने वाले दूल्हे से शादी न करने का फैसला लेने वाली कोटा की बहादुर बेटी डॉ. राशि सक्सेना शादी के दिन हुए हालात बयां करते रो पड़ीं। डॉ. राशि अब और बड़ा कदम उठाने जा रही हैं। राजस्थान पत्रिका से खास बाचतीच में उन्होंने बताया कि वे दहेज मांगने वाले वर पक्ष से रिश्ता तय होने के बाद से लेकर अब तक हुआ सारा खर्च वसूलकर रहेंगी।
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11 लाख की कार को बता दिया था डब्बा डाॅ. राशि ने बताया कि आपने पिता और मां को तकलीफ देकर मैं अपना घर नहीं बसाना चाहती। आज एक करोड़ रुपए की मांग की है, तो कल कुछ और मांगते। इसलिए मैने शादी से ही इनकार कर दिया। दहेज लोभियों के आगे झुक कर मुझे अपनी और अपने परिवार की जिंदगी नर्क नहीं बनानी थी। वैसे भी सक्षम से शादी करने की मेरी इच्छा उस दिन खत्म हो गई थी जब उसने दहेज में देने वाली कार को लाेहे का डिब्बा बता दिया था। उसे क्या पता इस कार को खरीदने में मेरे पापा ने खून पसीने की कमाई खर्च की थी।
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धीरे-धीरे बढ़ने लगीं मांगें डॉ. राशि ने बताया कि शादी तय करते समय सक्षम और उसके परिवार वालों ने दहेज के लिए मुंह नहीं खोला, लेकिन जब मैं उससे फोन पर बात करती तो कभी घर के रीति-रिवाजों के नाम पर कभी बारातियों को सोने के सेट देने की बात करता। उसने यहां तक कहा था कि गाड़ी तो छोटी चीज है हमारे यहां तो लड़की वाले शादी होने से पहले ही लड़के को बंगला दे देते हैं। उसकी बातों से मेरा मन खट्टा जरूर हुआ था, लेकिन यह अंदाजा नहीं था कि फेरों से पहले वह इतनी बड़ी मांग रख देंगे।