केंद्र सरकार के लक्ष्य के तहत वर्ष 2025 में जिले को क्षयरोग (टीबी) मुक्त बनाना स्वास्थ्य विभाग के लिए चुनौती बना हुआ है। टीबी मरीजों की संया में कमी की बजाए साल-दर-साल लगातार बढ़ रही है। स्वास्थ्य विभाग ने वर्ष 2024 में 36 हजार 916 संभावित मरीजों की जांच की है। इनमें से 1858 नए मरीजों को टीबी होने की पुष्टि की गई है।
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विशेषज्ञ चिकित्सक की माने तो क्षय रोग होने का कारण एक व्यक्ति के ग्रसित होने पर दूसरे व्यक्ति के बार-बार संपर्क में आने से होती है। क्षय रोग होने का खतरा प्रतिरोधात्मक क्षमता कम होने वाले व्यक्ति पर होने की संभावना अधिक होती है। इसलिए इसे हवा में फैलने वाली बीमारी भी कहा जाता है। यानी परिवार में किसी एक सदस्य को टीबी होने पर दूसरे सदस्य को भी बीमारी होने की संभावना बढ़ जाती है। ऐसे मेें डॉक्टरों की ओर से लोगाें को परिवार या फिर आसपास में किसी भी व्यक्ति में टीबी के लक्षण होने पर तत्काल उपचार कराने की सलाह दी जा रही है। पिछले 10 साल के आंकडे़ के अनुसार स्वयं से होकर टीबी की जांच कराने के लिए अस्पताल में पहुंचने वाले में 17 हजार 269 सक्रिय नए मरीजों में बीमारी की पुष्टि हुई है।
मोबाइल एक्स-रे एंबुलेंस पहुंची कोरबा
क्षयरोग पर नियंत्रण के लिए मुयलाय से कोरबा निक्षय निरायम कार्यक्रम अंतर्गत स्वास्थ्य विभाग के पास मोबाइल एक्स-रे एंबुलेंस पहुंची है। इसके माध्यम से जिले में हाई रिस्क वर्ग के लोगाें की जांच के की जाएगी। यह एंबुलेंस में जिले के सभी 39 प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र पहुंचेगी और लोगों को बलगम और एक्स-रे मशीन से क्षयरोग की जांच की जाएगी। मरीजों बताया जा रहा है कि इस कार्यक्रम के तहत सबसे पहले अब तक मिले संभावित मरीज, उनके परिवार और हाई रिस्क वर्ग के लोगों की जांच की जाएगी।ये हैं लक्षण
भूख नहीं लगना। रात में पसीना आना। वजन कम होना। दो सप्ताह से खासी बुखार आना। तीन सप्ताह से ज्यादा कफ। छाती में दर्द। खांसी में खून आना। बुखार आना।
इन लोगाें को सबसे अधिक खतरा
डॉक्टर ने बताया कि क्षय रोग हवा में फैल रही है। सामान्य तौर पर प्रतिरोधक क्षमता सभी में होती है। लेकिन जिन व्यक्तियों में प्रतिरोधक क्षमता कम होती है, उन व्यक्तियों में टीबी होने का खतरा अधिक होता है। इसमें नशा करने वाले व्यक्ति, बुजुर्ग, कुपोषित, कम वजन वाले व्यक्ति सहित अन्य शामिल हैं। इन्हें विभाग ने हाई रिस्क वर्ग में रखकर जांच की कार्य योजना बनाई है। इसके तहत संभावित मरीजों का प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों में बलगम की जांच की जाएगी। वहीं जिन मरीजों को खांसी नहीं आ रही है उनकी एक्स-रे के माध्यम से बीमारी का पता लगाया जाएगा।फैक्ट फाइल
वर्ष सैंपल मरीज 2015 11461 1364 2016 18938 2055 2017 15671 1759 2018 16916 1835 2019 15517 2013 2020 7734 1417 2021 8741 1336 2022 21627 1786 2023 32729 1845 2024 36916 1858 नोडल अधिकारी कोरबा के डॉ. सीएल रात्रे ने कहा की क्षयरोग हवा में फैल रही है। क्षयरोग के नियंत्रण के लिए अभियान चलाया जा रहा है। मुयालय से निक्षय निरामय अंतर्गत मोबाइल एक्स-रे एंबुलेंस कोरबा पहुंची है। इसके माध्यम से मरीजों की जांच की जाएगी।