बीते 13 दिसम्बर को शहीद एसआई मूलचंद कंवर का जन्मदिन था। उनका परिवार उनका जन्मदिन मानाने के लिए उनके स्मारक पर पहुंचा था। उनके साथ आयी उनकी बेटी ने अपने पिता को पहचान लिया। जबकि उनके पिता उसके जन्म से पहले ही शहीद हो गए थे।
मासूम को अपने पिता से लिपटते और उनकी जय जय कहते देख सुन कर वहां मौजूद सभी लोगों की आँखें नम हो गयी। दरअसल जन्म के बाद से ही उसे तस्वीरों में ही अपने पिता की दिखाया गया था यही वजह है की पिता की मूर्ति देखते ही वह उन्हें पहचान गयी।
शहीद एसआई मूलचंद कंवर 12 अगस्त 2013 को पुलिस विभाग में सब इंस्पेक्टर बने। ट्रेनिंग के बाद उनकी पोस्टिंग नारायणपुर जिले में हुई थी। नक्सलियों के खिलाफ उनके साहस को देखते हुए उनका नाम आउट ऑफ टर्न प्रमोशन के लिए भेजा गया था। लेकिन इससे पहले 24 जनवरी 2018 को अबूझमाड़ इलाके में नक्सलियों से मुकाबले के दौरान उन्हें गोली लग गयी और वो शहीद हो गए थे।