कोलकाता। पश्चिम बंगाल के रानाघाट में बुजुर्ग नन और बर्दवान जिले में वैष्णव सम्प्रदाय की साध्वी से हैवानियत को लेकर मचा बवाल अभी ठंडा भी नहीं पड़ा कि राज्य में रामकृष्ण मिशन की साध्वी से गैंगरेप की घटना सामने आई। बंगाल की उज्जवल संस्कृति को कलंकित करने वाली यह पैशाचिक घटना मालदह जिले की है। बेलूर मठ से दीक्षित साध्वी (38) इंग्लिशबाजार थाना क्षेत्र की मिहिर दास कॉलोनी में रहती है। रामकृष्ण मिशन ने आरोपितों को कड़ी सजा देने की मांग की है। जिला पुलिस अधीक्षक ने पीडिता को न्याय दिलाने का आश्वासन दिया है।सूत्रों के अनुसार गत 13 मार्च की शाम पड़ोस के चार युवकों ने साध्वी से कुकृत्य किया। घटना की शिकायत दर्ज कराने के लिए वह कई बार थाना गई, लेकिन पुलिस मामला दर्ज करने की बजाए आरोपितों के साथ बैठक कर मामले को रफा-दफा करवाने का प्रयास करती रही। गुरूवार को रामकृष्ण मिशन के संतों के दबाव के बाद पुलिस ने मामला दर्ज किया। जिला पुलिस अधीक्षक प्रसून बनर्जी ने बताया कि साध्वी की शिकायत के आधार पर चार आरोपितों में से दो को गिरफ्तार कर लिया गया है। बाकी दो की तलाश की जा रही है। उन्होंने कहा कि पुलिस ने सूचना मिलते ही मामला दर्ज क्यों नहीं किया? इस संबंध में थाने से रिपोर्ट तलब की गई है। दोषी पाए जाने पर उनके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। राम कृष्ण मिशन सूत्रों के अनुसार पीडिता 13 मार्च की शाम मोदीखाना दुकान गई थी। घर लौटते समय पड़ोस के प्रणय हल्दर, भरत हल्दर, संजीवन विश्वास, असीम पहाड़ी नामक चार युवकों ने पकड़ लिया और आम के बगीचे में ले जाकर उनकी अस्मत लूट ली। पीडिता का कहना है कि घटना के बाद वह कई बार शिकायत दर्ज कराने थाने गई, लेकिन पुलिस ने मामला दर्ज करने की बजाय आरोपितों के साथ बातचीत कर मामले को सुलझाने को कहती रही। साध्वी से दुष्कर्म पर संसद में तकराररानाघाट नन गैंगरेप के बाद बर्दवान साध्वी से दुष्कर्म व हत्या के मामले को लेकर लोकसभा में गुरूवार को भाजपा और तृणमूल के सदस्यों में जोरदार तकरार हुई। दोनों दलों के सांसद एक दूसरे पर इस कदर आरोप-प्रत्यारोप लगाने लगे कि अध्यक्ष सुमित्रा महाजन भड़क उठीं। महाजन ने कहा कि दोनों के हाथ में लठ लाकर दे दूं क्या? उन्होंने कहा कि महिला के साथ दुर्व्यवहार के मामले पर इस तरह की राजनीति ठीक नहीं है। अध्यक्ष के कड़े हस्तक्षेप के बाद दोनों दल के सांसद शांत हुए। शून्यकाल में भाजपा सांसद एस.एस. अहलुवालिया ने साध्वी से दुष्कर्म व हत्या का मामला उठाते हुए कहा कि पश्चिम बंगाल में नन (72) के साथ बलात्कार की घटना का शोर ठंडा भी नहीं पड़ा था कि राज्य के बर्दवान जिले के कटवा में 75 वर्षीय साध्वी के साथ बलात्कार और हत्या की वारदात हुई है। उन्होंने कहा कि इन घटनाओं को देखते हुए राज्य की महिला मुख्यमंत्री ममता बनर्जी को अपने पद से इस्तीफा देना चाहिए। अहलुवालिया के इस बयान का तृणमूल कांग्रेस के सांसद कल्याण बनर्जी ने कड़ा प्रतिवाद करते हुए दावा किया कि यह बलात्कार का नहीं, बल्कि हत्या का मामला है और पोस्टमार्टम रिपोर्ट से यह बात साबित हो चुकी है। इस पर अहलुवालिया और बनर्जी के बीच देर तक तकरार होती रही। दोनों एक दूसरे की ओर हाथ उठा-उठा कर आरोप-प्रत्यारोप लगाते रहे। दोनों से शांत रहने का स्पीकर बार-बार आग्रह करती रहीं, लेकिन मामला शांत नहीं हुआ। फिर अध्यक्ष ने सख्त स्वर में कहा कि मैं दोनों के हाथ में लठ लाकर दे दूं क्या? यह क्या हो रहा है? लड़ना है तो बाहर जाकर लड़ो। ..यह अच्छा नहीं है, दोनों सदन का समय बर्बाद कर रहे हैं। ..अब तो हद हो गई है, यह सदन इसके लिए नहीं बना है। स्पीकर ने यह भी कहा कि अगर किसी महिला से बदसूलकी होती है तो कृपा करके उस मामले को उठाएं, लेकिन उस पर राजनीति नहीं करें। इस पर एक दूसरे पर लांक्षन लगाना ठीक नहीं है। अध्यक्ष की फटकार के बाद मामला शांत हुआबुधवार को रानाघाट नन गैंगरेप के मुद्दे पर भी भाजपा और तृणमूल कांग्रेस के सदस्यों में नोंकझोंक हुई थी। उस समय भी अध्यक्ष ने दोनों दलों के सदस्यों को फटकार लगाई थी और महिला से दुर्व्यवहार के मसले पर राजनीति नहीं करने की सलाह दी थी। उल्लेखनीय है कि बर्दवान जिले के कटवा इलाके के अग्रदीप इलाके में वैष्णव सम्प्रदाय की 75 वर्षीय साध्वी का रक्त-रंजित निर्वस्त्र शव मिला था। स्थानीय लोगों का आरोप है कि दुष्कर्म के बाद उसकी हत्या की गई है।