रचना, सुनीता, नर्मदा, ममताबाई आदि ने बताया कि गांव में योजना के संबंध में कोई प्रचार-प्रसार नहीं हुआ। इतना ही नहीं समय पर या नियमित पंचायत भी नहीं खुलती। जिससे गांव की करीब 250 महिलाएं योजना में आवेदन करने से वंचित रही गई है। केवल चुनिंदा महिलाओं को योजना का लाभ मिल रहा है। हमारी मांग है कि हमें भी योजना का लाभ दिया जाय एवं तीसरा चरण शुरु होने पर पंचायत को जिमेदारी न देते हुए गांव में शिविर लगाकर आवेदन लिए जाएं।
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जनसुनवाई में 67 आवेदकों ने दिए आवेदन
जनसुनवाई में 67 आवेदकों ने आवेदन दिए। संयुक्त कलेक्टर सत्यनारायण दर्रे एवं हेमलता सोलंकी ने आवेदकों की समस्याओं को सुना और संबंधित विभाग के अधिकारियों को उनका त्वरित निराकरण करने के निर्देश दिए। महेश्वर तहसील के ग्राम खराड़ी निवासी कैलाश शाहनी प्रधानमंत्री आवास योजना का लाभ दिलाने की मांग लेकर आया था। उनका कहना है कि 12 वर्षों से कच्चे मकान में निवास कर रहे हैं। ग्राम पंचायत में प्रधानमंत्री आवास योजना की सूची में 44 नवंबर पर नाम दर्ज है, लेकिन आवास का लाभ नहीं मिल रहा है। गोगांवा तहसील के ठिबगांव निवासी आयशा मंसुरी अपने पति अनिस मंसुरी की मृत्यु होने पर शासन की संबल योजना के तहत राशि नहीं मिलने की मांग लेकर आई। जितेन्द्र पिता राधेश्याम सोलंकी ने प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत दामखेड़ा कॉलोनी में आवंटित तीसरी मंजिल से दूसरी मंजिल पर करने की मांग लेकर आये थे। जितेन्द्र का कहना है कि पुत्री को केंसर होने के कारण तीसरी मंजिल पर आने जाने में समस्या होती है।