खंडवा

ज्योतिरादित्य सिंधिया के भाजपा में जाने के बाद अब तख्तापलट से बदलेगी यहां की तस्वीर

सियासत के संग्राम में तेजी से बदल रहे सियासी हालात, इस जिले को मंत्री पद मिलने की बढ़ जाएगी संभावनाएं।

खंडवाMar 12, 2020 / 12:22 pm

अमित जायसवाल

jyotiraditya scindia and mp crisis effects

खंडवा. प्रदेश में चल रही सियासी उठापटक के बीच हर कहीं सरकार के बने रहने, तख्तापलट होने या फिर मध्यावधि चुनाव की स्थिति बनने की चर्चाएं हैं।
कांग्रेस की सरकार में निमाड़ की अहम भूमिका है, क्योंकि यहां से दो निर्दलीय सहित कुल 12 सीटों का सीधा साथ मिला। जबकि इन हालातों में निमाड़ में खंडवा जिले ने भाजपा को 4 में से 3 सीटें दी। ऐसे में तख्तापलट हुआ तो तस्वीर बदलेगी। राजनीतिक व प्रशासनिक नजरिए से तो बदलाव दिखेगा ही, साथ में मुद्दों पर भी प्राथमिकताएं बदलेंगी। इधर, विधायकों को लेकर चल रही जोड़तोड़ को लेकर खंडवा, पंधाना व हरसूद विधायकों को लेकर जहां भाजपा निश्चिंत है तो वहीं मांधाता विधायक को लेकर कांग्रेस का विश्वास कायम है।
इन जिलों में ये स्थिति
खंडवा: 3 भाजपा, 1 कांग्रेस
बुरहानपुर: 1 निर्दलीय, 1 कांग्रेस
खरगोन: 1 निर्दलीय, 5 कांग्रेस
बड़वानी: 1 भाजपा, 3 कांग्रेस

खंडवा से जुड़े इन मुद्दों पर बदलेगी तस्वीर…
नर्मदा जल योजना: 84 करोड़ की घोषणा पर असर
– चारखेड़ा से खंडवा तक की 50 किमी पाइपलाइन के स्थान पर व्हाया जावर होते हुए 35 किमी नई पाइपलाइन के लिए 84 करोड़ रुपए की घोषणा पर असर पड़ेगा, क्योंकि इस संबंध में लिखित में कुछ नहीं आया है।
दादाजी मंदिर: चर्चा में आएगा विनिर्दिष्ट अधिनियम
– विस में मप्र विनिर्दिष्ट मंदिर विधेयक-2019 लाया गया। इसमें महाकाल उज्जैन, खजराना गणेश इंदौर, जामसांवली छिंदवाड़ा, सलकनपुर, शारदा माता मंदिर मैहर व दादाजी धाम खंडवा को शामिल किया। ये मुद्दा फिर उठेगा।
हनुवंतिया: प्राथमिकताएं बदली तो फिर होगी नजर
– पर्यटन स्थल हनुवंतिया को तत्कालीन सीएम शिवराजसिंह चौहान की खोज कहा जाता है। वे ही यहां दो बार कैबिनेट लेकर आए। देश-विदेश में ब्रांडिंग की। अभी हनुवंतिया की हालत खराब है। नए सिरे से फिर नजरें जमेंगी।
प्रशासन-पुलिस: सांसद-विधायकों पर एफआइआर
– आशापुर विवाद के बाद विजय शाह, सीएए मुद्दे पर रैली निकालने पर सांसद नंदकुमारसिंह, विधायक देवेंद्र वर्मा, निवृत्तमान महापौर सुभाष कोठारी, जिला सांख्यिकी अधिकारी की शिकायत पर पंधाना विधायक राम दांगोरे पर की गई एफआइआर के मुद्दे फिर गर्म होंगे व इसकी आंच अफसरों पर पड़ सकती है।
राजनीति: खंडवा के हिस्से आ सकता है मंत्री पद
खरगोन जिले के दो और बड़वानी जिले से एक सहित कुल तीन मंत्री अब तक सरकार में निमाड़ के हैं। बदलाव की स्थिति में खंडवा जिले को मंत्री पद मिलने की संभावनाएं बढ़ जाएंगी।
ब्राउजर
16 विस सीट निमाड़ में कुल
04 ही भाजपा के पास, इनमें से तीन खंडवा जिले से
10 कांग्रेस के कब्जे में
02 पर निर्दलीय जीते, ये कांग्रेस समर्थित

राजनीतिक घटनाक्रम को यहां पढि़ए…
नारंग ने छोड़ा महासचिव पद, सिंधिया के इशारे का इंतजार
ज्योतिरादित्य सिंधिया के समर्थक परमजीत सिंह नारंग उर्फ पाटू भैया ने कांग्रेस के प्रदेश महासचिव पद से इस्तीफा दे दिया है। उन्होंने कहा कि मैंने मौखिक रूप से ये इस्तीफा प्रेषित कर दिया है। मैं महाराज (सिंधिया) के साथ हूं। वे जो निर्देश देंगे, उस पर अमल करते हुए आगे बढ़ेंगे। बता दें कि नारंग के साथ निवृत्तमान छह पार्षद व अन्य कार्यकर्ता भी बड़ा निर्णय ले सकते हैं। नारंग के पद छोडऩे के बाद सोशल मीडिया पर चर्चा छिड़ गई।
शेरा का बयान- मैं बब्बर शेर हूं, सर्कस का शेर नहीं हूं
सिंधिया खेमे के माने जाने वाले बुरहानपुर के निर्दलीय विधायक सुरेंद्र सिंह ठाकुर उर्फ शेरा भैया ने बुधवार सुबह मुख्यमंत्री कमलनाथ से मुलाकात की। उनका ये बयान भी सामने आया कि मैं बब्बर शेर हूं, सर्कस का शेर नहीं। बता दें कि सिंधिया द्वारा कांग्रेस छोडऩे से पहले भी शेरा ने कहा था कि मुझे मंत्री पद दे दें और सिंधिया को प्रदेशाध्यक्ष बना दें तो सरकार स्थिर हो जाएगी, लेकिन उसके बाद घटनाक्रम बहुत तेजी से बदल गया।
यादव समर्थक विधायक ने कहा- भाजपा की ओछी हरकत
मांधाता से विधायक नारायण सिंह पटेल ने सियासी घटनाक्रम को लेकर बुधवार सुबह बयान जारी किया। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री कमलनाथ सुलझे हुए व्यक्ति हैं। उनके साथ हर कोई जुडऩा चाहता है। भाजपा ने जो हरकत की है, पूरी पिक्चर सामने आ गई है। ओछी हरकत की जा रही है। इस प्रकार से नहीं होना चाहिए। हम निर्वाचित जनप्रतिनिधि हैं और स्वतंत्र हैं। जनता ने भरोसा करके हमें भेजा है। ब्लैकमैल करेंगे तो वो जनता के साथ न्याय नहीं होगा।

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