लीला का प्रमाण है बांधा मंदिर
भगवान श्री राधाकृष्ण का परम अलौकिक चमत्कारिक श्री राधाकृष्ण मंदिर लघु वृंदावन धाम बांधा भगवान श्री कृष्ण की जीवंत चमत्कारिक लीला का प्रामाणिक मंदिर है। (Lord Krishna) सन 1929 में भाद्र मास में भगवान की तीन दिनों तक लगातार बांसुरी बजने की प्रत्यक्ष चमत्कारिक लीला घटी थी। वर्ष 1915 में बांधा ग्राम के मालगुजार गोरेलाल पाठक के द्वारा उक्त मंदिर निर्माण की आधारशिला रखी गई। मंदिर निर्माण हेतु नींव निर्माण के कार्य होते समय ही अचानक गोरेलाल पाठक का देवलोक गमन हो गया इसके पश्चात मंदिर निर्माण का संकल्प उनकी पत्नी पूना देवी ने अपने पारिवारिक सदस्यों को साथ लेकर पूर्ण किया । 11 वर्ष की अवधि में सन 1926 में मंदिर निर्माण पूर्ण हुआ तथा सन 1927 में भगवान श्री राधाकृष्ण जी, बलदाऊ जी की प्राणप्रतिष्ठा हुई। मंदिर निर्माण में उस समय कुल लागत 15 हजार रूपए नगद तथा गोरेलाल पाठक की 11 ग्रामों की मालगुजारी क्षेत्र की भूमि से उपजा हुआ अन्न व्यय हुआ था। मंदिर निर्माण हेतु समस्त पत्थर समीपस्थ ग्राम सैदा,जमुनिया से आए थे। मंदिर निर्माण के प्रधान कारीगर के रूप में बिलहरी ग्राम के भिम्मे बर्मन, नर्मदा प्रसाद बर्मन एवम सरजू बर्मन रहे हैं। वर्तमान में गोरेलाल पाठक की चौथी पीढ़ी वर्तमान में मंदिर में सेवारत हैं। भगवान की पूजन, उपासना प्रतिदिन वैदिक रीति विधि से संपन्न होती है। प्रत्येक माह की पूर्णिमा को भगवान की भव्य महाआरती तथा प्रत्येक सनातन धर्मी उत्सव यहां धूमधाम से आयोजित होते हैं।
भगवान श्रीकृष्ण का जन्मोत्सव सोमवार को मनाया जाएगा। इस दौरान भगवान श्रीकृष्ण के जन्मोत्सव पर्व के साक्षी बनने मध्य कालीन 12 बजे जिले से बड़ी संख्या मे भक्तों का सैलाब उमड़ेगा। श्री राधा कृष्ण सेवा समिति ने बताया कि श्रीकृष्ण जन्माष्टमी पर्व पर सोमवार को प्रात 8 बजे से भगवान का पूजन अभिषेक,प्रात 11 बजे से श्री सदभावना रामायण मंडल हरदुआ के द्वारा मधुर संगीतमय भजन श्रंखला प्रारम्भ होगी। शाम 7 बजे से जय मां आसमानी मानस मंडल देवरी हटाई के तत्वाधान मे जिले के श्रेष्ठ भजन गायको द्वारा रात्रि पर्यंत तक भगवान के रसपूर्ण भजन प्रवाहित होंगे। मध्य रात्रि ठीक 12 बजे आचार्यो की उपस्थिति मे भगवान श्री कृष्ण का जन्मोत्सव मनाया जायेगा ओर भव्य पुष्प महाआरती होगी। मध्यरात्रि 12 बजे भगवान की जन्मझांकी दर्शन के लिए प्रकट होगी। मंदिर समिति ने सभी धर्मप्रियजनों से भगवान के जन्म के अवसर पर पधारकर पुण्य लाभ अर्जित करने की कामना की है।