बरही रोड में जरुरतमंदों के लिए समाजसेवियों द्वारा वितरित किए जाने वाले भोजन कार्यक्रम में शामिल हुईं। इसके बाद उनका स्वागत सम्मान समाजसेवी निवर्तमान पार्षद मौसूफ अहमद, अजय मेहानी आदि ने किया। बता दें कि, छोटे से गांव की रहने वाली गौरी पर्वतारोहण में टॉप ऑफ द वर्ल्ड का लक्ष्य हासिल करने के साथ प्रदेश और देश की बेटियों को सदेश देना चाह रही हैं कि, हर बेटी के अंदर टैलेंट है, लेकिन वो निकल नहीं पा रही, मैं उनको बेहतर संदेश देकर उनके लिए मिसाल बनना चाहती हूं।
ऐसे पूरा किया पवर्तारोहण
गौरी अरजरिया ने बताया कि, वो 21 जनवरी को रवाना हुईं। 22 को हरिद्वार पहुंची, रूद्र प्रयाग से ट्रेकिंग प्रारंभ हुई। 23, 24, 25 को चढ़ाई की। चंद्रशिला तुंगनाथ जी पहुंची। 13 हजार 500 फीट की ऊंचाई पर पहुंचकर तिरंगा ध्वज फहराया, फिर नीचे उतरना प्रारंभ किया, 27 जनवरी को नीचे आईं, फिर 28 को घर के लिए रवाना हुईं। शनिवार को कटनी पहुंची। सबसे पहले पश्चिम बंगाल में 2019 में 17 हजार फीट रैन ऑक पीक को सबमिट किया, दूसरा उत्तराखंड में केदारकंठा 12 हजार 500 फीट का सफर 2021 में 26 जनवरी को सबमिट कर चुकी हैं। इसके अलावा नवंबर 2021 में विधानचंद्र रॉय पीक सिक्किम में 18000 फीट सबमिट किया।
छोटे से गांव की हैं बेटी
गौरी अरजरिया छोटे से गांव सेमरिया की रहने वाली हैं। गांव से ही हॉयर सेकंडरी स्कूल की परीक्षा उत्तीर्ण कर गणित विषय से स्नातक की पढ़ाई की है। पॉर्लर का संचालन करती हैं, उससे रुपए जोड़कर पीक सबमिट कर रही हैं। पिता रामकुमार अरजरिया किसान और मां कुसुम अरजरिया गृहणी हैं। आगे माउंट एवरेट को फतह करने की लालसा है। उसी को लेकर तैयारियां चल रही हैं। जिले और प्रदेश की लड़कियों के लिए मिसाल बनना है, ताकि प्रदेश की बेटियां हर क्षेत्र में आगे बढ़ें। गौरी ने कहा कि, हर माता-पिता अपनी बेटियों पर भरोसा करें, आगे बढ़ाएं, बेटियों के सपनों को पूरा करें।
कलेक्टर ने बनाया ब्रांड एम्बेसडर
बेटी-बचाव बेटी पढ़ाव पन्ना जिला की ब्रांड एम्बेसडर हैं, कलेक्टर संजय कुमार मिश्रा ने ब्रांड एम्बेसडर बनाया है। गौरी ने कहा कि, बेटियों को सपोर्ट किया जाए तो वे बहुत कुछ कर सकती हैं, उनका कहना है कि, आर्थिक रूप से बेटियां यदि मजबूत होती हैं तो और आगे बढ़ सकती हैं। उन्होंने कहा कि, देश से बाहर जाने में रुपए लगते हैं, उनके यहां आय का साधन खेती है और पार्लर से वो अपना खर्च उठाती हैं। अगर आर्थिक मदद मिले तो वे अपने लक्ष्य को और जल्दी पा सकेंगी।