—— आवक के बना रही रिकॉर्ड पिछले लंबे अर्से से जीरे के साथ ही ईसबगोल ने भी मंडी में आवक का रिकॉर्ड बनाया है। आवक को देखते हुए ही कृषि उपज मंडी समिति ने ईसबगोल की भी मण्डोर मंडी में विशिष्ट जिंस मंडी बनाने का प्रस्ताव राज्य सरकार को भेजा था। ईसबगोल की खेती प्रमुखतया बाड़मेर, जालोर व आसपास के गांवों में होती है।
— आंगणवा में 143 बीघा भूमि पर बनेगी मंडी राज्य सरकार की ओर से आंगणवा गांव में अनाज मंडी बनाई जाएगी, यह प्रस्तावित मंडी करीब 143 बीघा जमीन पर बनेगी। अनाज मंडी के लिए पूर्व में 90 बीघा जमीन कृषि मंडी समिति को आवंटित हो रखी है। इस जमीन के पास वाली करीब 53 बीघा जमीन की मांग करने पर यह जमीन भी कृषि मंडी समिति को दी गई है।
— ईसबगोल के बारे में – 200 करोड़ का निर्यात होता है हर साल – 90 फीसदी उत्पादन होता है राजस्थान में – 2 राज्य राजस्थान और गुजरात में ही होता है ईसबगोल
– 8 किलो प्रति हेक्टयर में होता है उत्पादन – 10 से ज्यादा रोगों में है फायदेमंद —– आवक को देखते हुए ही समिति ने तीन वर्ष पूर्व इसबगोल की विशिष्ट मंडी का प्रस्ताव भेजा था। अब आंगणवा में विशाल अनाज मंडी बनेगी, तो वहां इसबगोल के लिए विशेष जोन होगा।
सुरेन्द्रसिंह राठौड़, सचिव राजमाता विजयाराजे सिंधिया कृषि उपज मंडी समिति (अनाज) —