जोधपुर

प्रदेश के 5 हजार से अधिक बच्चे प्रवेश से होंगे वंचित

केंद्रीय विद्यालय संगठन (केवीएस) की प्रवेश प्रक्रिया एक अप्रैल से शुरू हो गई है। इस बार केवीएस ने प्रवेश नियमों में बड़ा बदलाव किया है। जिसका असर प्रदेश के 5 हजार से अधिक बच्चे पर पड़ने वाला है।

जोधपुरApr 03, 2024 / 10:51 am

Supriya Rani

जोधपुर. केंद्रीय विद्यालय संगठन (केवीएस) की प्रवेश प्रक्रिया एक अप्रेल से शुरू हो गई है। इस बार केवीएस ने प्रवेश नियमों में बड़ा बदलाव किया है। अब एक सेक्शन 40 की जगह 32 विद्यार्थियों का होगा। इससे देशभर में केवी में प्रवेश लेने वाले छात्र-छात्राओं और उनके अभिभावकों को भारी झटका लगा है। विशेषज्ञों के अनुसार केवीएस के इस निर्णय से देशभर के करीब 1300 स्कूलों में 2.50 लाख से अधिक बच्चे प्रवेश से वंचित रह जाएंगे। राजस्थान में 78 केंद्रीय विद्यालय हैं। यहां 5 हजार से अधिक बच्चों पर इसका असर पड़ेगा।

 

केवीएस की ओर से बाल वाटिका में लगातार दूसरी साल प्रवेश दिया जा रहा है। इसमें भी सेक्शन 32 बच्चों का कर दिया गया है। यानी हर सेक्शन में 8 बच्चे कम हो जाएंगे। इसमें प्रवेश की पात्रता आयु 5 वर्ष से अधिक व 6 वर्ष से कम रखी गई है। पहली कक्षा में 6 से 8 वर्ष तक की आयु के बच्चों को प्रवेश दिया जाएगा। आरटीआई की 25 प्रतिशत सीटें आरक्षित रखी है।

 

 

 

जोधपुर में 7 केंद्रीय विद्यालय हैं। इनमें केवी-1 व केवी-2 एयरफोर्स, केवी-1 व केवी-2 आर्मी, केवी बनाड़, केवी बीएसएफ और केवी आईआईटी है। यहां केवी-1 आर्मी और केवी बनाड़ में ही बाल वाटिका संचालित होती है। केवी-1 एयरफोर्स में पहली कक्षा के 5 सेक्शन हैं, जबकि केवी बनाड़ और केवी बीएसएफ में दो-दो सेक्शन हैं। शेष केवी में एक-एक सेक्शन है।

 

 

 

केंद्रीय विद्यालय बनाड़ जोधपुर के प्रिंसिपल विष्णुदत्त टेलर ने बताया कि नई शिक्षा नीति के अनुरूप एक कक्षा में बच्चों की संख्या कम रखने के उद्देश्य से इस बार एक सेक्शन में 32 सीटें ही रखी गई हैं। प्रवेश प्रक्रिया शुरू हो चुकी है।

 

 

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