देश की सूचना प्रौद्योगिकी (IT) और स्टार्टअप कंपनियां अगले साल में पांच लाख से अधिक लोगों को रोजगार दे सकती हैं। वे अभ्यर्थी को अपनी पढ़ाई पूरी करके नौकरी के इच्छुक है, ऐसे युवाओं की मांग बढ़ी है।
आईटी उद्योग में निचे के स्तर के कर्मचारियों के वेतन में इस साल 20 प्रतिशत की वद्धि हुई है। पिछले सात साल से वेतन में लगभग स्थिर रहने के बाद यह अच्छी-खासी बढ़ोतरी हुई है। एच1बी वीजा आवेदन प्रकिया के सख्त’ होने से भारतीय कंपनियां जापान और दक्षिण पूर्वी एशिया पर ज्यादा ध्यान दे रही हैं।
देश में हैदराबाद बना पसंदीदा स्थल
तेलंगाना की राजधानी हैदराबाद नई तकनीक वाली कंपनियों के लिए पंसदीदा स्थान बनता जा रहा है। इसकी वजह बेहतर बुनियादी ढांचा और राज्य के सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री के टी रामाराव की ‘बहुत अच्छी मार्केटिंग तकनीक’ है। अब कंपनियां अच्छे पढ़े लिखे लोगों को आकर्षित करने के लिए शुरुआती स्तर के कर्मचारियों का वेतन बढ़ाकर 4.5 लाख से 5 लाख सालाना कर रही हैं।
तेलंगाना की राजधानी हैदराबाद नई तकनीक वाली कंपनियों के लिए पंसदीदा स्थान बनता जा रहा है। इसकी वजह बेहतर बुनियादी ढांचा और राज्य के सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री के टी रामाराव की ‘बहुत अच्छी मार्केटिंग तकनीक’ है। अब कंपनियां अच्छे पढ़े लिखे लोगों को आकर्षित करने के लिए शुरुआती स्तर के कर्मचारियों का वेतन बढ़ाकर 4.5 लाख से 5 लाख सालाना कर रही हैं।
नई कंपनियां करेंगी 2 लाख से अधिक भर्ती
इन्फोसिस के पूर्व चीफ फाइनेंस ऑफिसर के अनुसार 2019 उन युवाओं के लिए के लिए बेहतर होने जा रहा है जो शुरुआती कर्मचारी के तौर पर कंपनी से जुड़ेंगे, क्योंकि भर्ती प्रक्रिया में तेजी आ रही है। स्टार्टअप कंपनियां करीब 2 लाख से अधिक लोगों को भर्ती करेंगी। आईटी और स्टार्टअप कंपनियां मिलकर अगले साल 4.5 से 5 लाख कर्मचारियों की भर्ती करेंगी।
इन्फोसिस के पूर्व चीफ फाइनेंस ऑफिसर के अनुसार 2019 उन युवाओं के लिए के लिए बेहतर होने जा रहा है जो शुरुआती कर्मचारी के तौर पर कंपनी से जुड़ेंगे, क्योंकि भर्ती प्रक्रिया में तेजी आ रही है। स्टार्टअप कंपनियां करीब 2 लाख से अधिक लोगों को भर्ती करेंगी। आईटी और स्टार्टअप कंपनियां मिलकर अगले साल 4.5 से 5 लाख कर्मचारियों की भर्ती करेंगी।
Mega Job Programme 2019
बढ़ती बेरोजगारी लोकसभा चुनाव में एक बड़ी चिंता के रूप में सामने आ रही है। केंद्र सरकार बढ़ती बेरोजगारी के लिए तीन मंत्रालय – मानव संसाधन विकास, श्रम और कौशल विकास द्वारा स्नातक को प्रशिक्षित करके और जॉब मुहैया करवाने की तैयारी में है।
बढ़ती बेरोजगारी लोकसभा चुनाव में एक बड़ी चिंता के रूप में सामने आ रही है। केंद्र सरकार बढ़ती बेरोजगारी के लिए तीन मंत्रालय – मानव संसाधन विकास, श्रम और कौशल विकास द्वारा स्नातक को प्रशिक्षित करके और जॉब मुहैया करवाने की तैयारी में है।
मोदी सरकार एक मेगा ‘शिक्षुता कार्यक्रम’ शुरू करने की तैयारी कर रही है, विशेष रूप से निजी और सरकारी वित्त पोषित उच्च शिक्षा संस्थानों में मानविकी और अन्य गैर-तकनीकी पाठ्यक्रमों के छात्रों को लक्षित करने के लिए, उन्हें अधिक नियोक्ता बनाने और स्नातक होने पर उन्हें नौकरियां प्राप्त करने में सहायता करने के लिए तैयार है।
केन्द्रीय सार्वजनिक क्षेत्र की इकाइयों, क्षेत्र कौशल परिषदों और बड़े उद्योग को उच्च गुणवत्ता वाले शिक्षुता, बुनियादी प्रशिक्षण और कॉलेज से बाहर निकलने वाले प्रत्येक छात्र को नौकरी प्रशिक्षण सुनिश्चित करने के लिए कार्यक्रम से जोड़ा जाएगा।