डिफेन्स रिसर्च एंड डेवलपमेंट आर्गेनाईजेशन (DRDO) में रिक्त पदाें का विवरण: जूनियर रिसर्च फेलो- 5 पद केमिकल इंजीनियरिंग- 3 पद
मेकनिकल इंजीनियरिंग- 2 पद
डिफेन्स रिसर्च एंड डेवलपमेंट आर्गेनाईजेशन (DRDO) में रिक्त पदाें पर आवेदन करने के लिए शैक्षणिक योग्यताः
मेकनिकल इंजीनियरिंग- 2 पद
डिफेन्स रिसर्च एंड डेवलपमेंट आर्गेनाईजेशन (DRDO) में रिक्त पदाें पर आवेदन करने के लिए शैक्षणिक योग्यताः
जूनियर रिसर्च फेलो- प्रतम श्रेणी में बीई/बीटेक के साथ NET/GATE या प्रथम श्रेणी के साथ एमई/एमटेक होना आवश्यक है। आयु सीमा: 28 वर्ष डिफेन्स रिसर्च एंड डेवलपमेंट आर्गेनाईजेशन (DRDO) में रिक्त पदाें पर आवेदन कैसे करें:
योग्य उम्मीदवार 19 मई 2018 तक या इससे पहले अपना बायोडाटा जनरल मैनेजर, एसएफ. काम्प्लेक्स, जगदलपुर- 494001 के पते पर भेज सकते हैं। डिफेन्स रिसर्च एंड डेवलपमेंट आर्गेनाईजेशन (DRDO) में आवेदन के लिए महत्वपूर्ण तिथि:
आवेदन की अंतिम तिथि- 19 मई 2018 DRDO Junior research fellow recruitment notification 2018: डिफेन्स रिसर्च एंड डेवलपमेंट आर्गेनाईजेशन (DRDO) ने जूनियर रिसर्च फेलो आैर इंजीनियरिंग के रिक्त 10 पदों पर भर्ती के लिए विस्तृत अधिसूचना यहां क्लिक करें।
डिफेन्स रिसर्च एंड डेवलपमेंट आर्गेनाईजेशन (DRDO) का परिचयः 1958 में डीआडीओ का उस समय की पहले से ही कार्यरत भारतीय सेना की प्रौद्योगिकी विकास अधिष्ठान (टीडीई) तथा रक्षा विज्ञान संस्थान (डीएसओ) के साथ प्रौद्योगिकी विकास और उत्पादन का निदेशालय (डीटीडीपी) के एकीकरण से गठन किया गया था। उस समय डीआरडीओ 10 प्रतिष्ठानों अथवा प्रयोगशालाओं वाला छोटा संगठन था। वर्षों से, इसने विविध विषय शिक्षणों, अनेक प्रयोगशालाओं, उपलब्धियों तथा महत्ता के लिहाज से बहु-दिशात्मक विकास किया है। आज, डीआरडीओ 50 से अधिक प्रयोगशालाओं का समूह है जो भिन्न प्रकार के शिक्षणों जैसे वैमानिकी, आयुध, इलेक्ट्रॉनिक्स, युद्धक वाहन, इंजीनियरिंग प्रणाली, उपकरण, मिसाइल, उन्नत कंप्यूटिंग और सिमुलेशन, विशेष सामग्री, नौसेना प्रणालियों, जीवन विज्ञान, प्रशिक्षण, सूचना प्रणालियों और कृषि को सुरक्षा देने वाली रक्षा प्रौद्योगिकियों का विकास करने में गहराई से लगे हैं। वर्तमान में, संगठन 5000 से अधिक वैज्ञानिकों और 25,000 अन्य वैज्ञानिक, तकनीकी और समर्थन के कर्मियों द्वारा समर्थित है। मिसाइलों, हथियारों, हल्के लड़ाकू विमानों, रडार, इलेक्ट्रॉनिक युद्ध प्रणालियों इत्यादि के विकास के लिए अनेक प्रमुख परियोजनाएं उपयोग के लिए उपलब्ध हैं तथा ऐसी अनेक प्रौद्योगिकियों में पहले ही महत्वपूर्ण उपलब्धियां प्राप्त की गई हैं।