जो युवा कम लागत में अपने गांव, कस्बे या शहर में स्वरोजगार करना चाहते हैं उनके लिए शानदार मौका आया है। वे मात्र पंद्रह दिन की ट्रेनिंग लेने के बाद खाद-उर्वरक बेचने का लाइसेंस ले सकते हैं। इसके बाद घर या आस-पास खुद की दुकान खोल सकते हैं। खुद आय करने के साथ ही किसानों की सहायता भी कर सकते हैं। अच्छी बिक्री होने पर युवा आसानी से दस से पचास हजार रुपए मासिक तक कमाई कर सकते हैं। इसके लिए पहले क्षेत्र में जरूरत, अच्छी लोकेशन आदि देखनी पड़ेगी। आय कम या ज्यादा बिक्री व खुद की मेहनत पर निर्भर है।
लेने होगी ट्रेनिंग
उर्वरक बेचने की दुकान खोलने से पहले राजस्थान के झुंझुनूं जिले के युवाओं को कृषि विज्ञान केंद्र आबूसर में उर्वरक विक्रेता लाइसेन्स लेने के लिए ट्रेनिंग लेनी होगी। हालांकि जिन छात्र-छात्राओं ने कृषि विज्ञान में स्नातक की पढाई कर रखी है उनको ट्रेनिंग की जरूरत नहीं है। यह ट्रेनिंग 2 सितम्बर से शुरू होगी। इसके लिए पंजीयन 23 अगस्त से शुरू हो चुके हैं। कृषि विज्ञान केंद्र आबूसर के डॉ रशीद खान ने बताया कि प्रशिक्षण 15 दिन का होगा। जिसमें प्रायोगिक एवं सैद्धांतिक दोनों तरीकों से प्रशिक्षणार्थियों को रसायनिक उर्वरकों के प्रकार, पौधों में उपयोगिता एवं संतुलित उपयोग आदि के बारे में विस्तार से अवगत करवाया जाएगा। प्रशिक्षण लेने के बाद प्रशिक्षणार्थी रासायनिक उर्वरक विक्रय करने का लाइसेन्स प्राप्त कर सकेंगे। यह प्रशिक्षण पूर्णतया स्व वित्त पोषित होगा। इसके लिए तय शुल्क देना होगा। ट्रेनिंग गैर आवासीय होगी। वहीं बीज की दुकान खोलने के लिए किसी सरकारी ट्रेनिंग की औपचारिता की जरूरत नहीं होती। बीज की दुकान का लाइसेंस आसानी से मिल जाता है। राजकीय सेवा से रिटायर्ड कार्मिकों के लिए अधिकतम आयु सीमा 65 वर्ष रखी गई है।इतनी आती है लागत
एक्सपर्ट विक्रेताओं के अनुसार खाद की छोटी दुकान खोलने के लिए दो-तीन लाख रुपए की लागत आती है। दुकान बड़ी खोलना चाहते हैं तो लागत बढ़ जाएगी।आजकल कई कम्पनियां एडवांस में भी खाद-बीज दे जाती है। बिक्री होने पर रुपए लेती है। ऐसे में शुरू में ज्यादा खर्चा करने की जरूरत नहीं होती। दुकान खुद की हो तो किराया भी नहीं लगता। सफलता खुद की मेहनत पर निर्भर है।फैक्ट फाइल
आवेदक की उम्र: 18 से 45 वर्ष शिक्षा: दसवीं उत्तीर्ण सीटों की संख्या: 35 आवेदन: 31 अगस्त 2024 तक चयन: पहले आओ-पहले पाओ एक्सपर्ट व्यू इच्छुक प्रशिक्षणार्थी कार्यालय में उपस्थित होकर पंजीकरण करवा सकते हैं। प्रशिक्षण क्षमता 35 की है। चयन प्रथम आओ प्रथम पाओ के आधार पर होगा। जो युवा स्वरोजगार करना चाहते हैं उनके लिए अच्छा अवसर है। –डॉ दयानंद, वैज्ञनिक एवं अध्यक्ष कृषि विज्ञान केन्द्र आबूसर, राजस्थान