झुंझुनू

दीनवा के ग्रामीणों ने एकजुट होकर खोल दी गोशाला

गायें खेतों में फसल को नुकसान पहुंचाती थी। साथ ही बेसहारा गायों की स्थिती भी दयनीय हो रही थी। दोनों समस्याओं के निराकरण करने लिए गांव के सभी लोगों ने गांव में जनसहयोग से गोशाला खोलने का निर्णय किया। अब गोशाला में छोटी बड़ी निराश्रित पचास गायों की देखभाल की जा रही है।

झुंझुनूJul 11, 2021 / 11:09 pm

Jitendra

दीनवा के ग्रामीणों ने एकजुट होकर खोल दी गोशाला

झुंझुनूं. मंडावा-मुकुंदगढ़ रोड पर स्थित करीब 250 घरों के गांव दीनवा के ग्रामीणों ने फसल की खुले पशुओं की सुरक्षा तथा बेसहारा गायों की देखभाल करने के लिए सार्वजनिक चौपाल में निर्णय लेकर जनसहयोग से निराश्रित गायों के लिए गोशाला शुरू की है। श्री बालाजी गोशाला दीनवा का संचालन गत 16 फरवरी 2021 से जन सहयोग से किया जा रहा है। गोशाला कमेटी सदस्य गोपाल सिंह शेखावत, मोहन सिंह शेखावत, पूर्ण सिंह, नरपतसिंह, उपसरपंच राजेन्द्र सिंह, राजूसिंह, सुरेश कुमार हुड्डा, जुगल किशोर शर्मा व विकास कुमार ने बताया कि गायें खेतों में फसल को नुकसान पहुंचाती थी। साथ ही बेसहारा गायों की स्थिती भी दयनीय हो रही थी। दोनों समस्याओं के निराकरण करने लिए गांव के सभी लोगों ने गांव में जनसहयोग से गोशाला खोलने का निर्णय किया। अब गोशाला में छोटी बड़ी निराश्रित पचास गायों की देखभाल की जा रही है। गोशाला शुरू होने के पहले दिन चालीस हजार रूपए का जनसहयोग प्राप्त हुआ। उसके बाद अब करीब आठ लाख रुपए का जनसहयोग मिल गया। जिससे गायों के लिए टीन शेड, पानी की व्यवस्था व चारा की व्यवस्था की गई है। गोशाला में छोडऩे पर छोटी बछड़ी का 11 सौ रुपए तथा बड़ी गाय का 21 सौ रुपए शुल्क लिया जाता है। यह सुविधा सीर्फ दीनवा गांव के लिए ही है। अन्य गांवों की निराश्रित गायों के सुविधा नहीं है।

सुबह शाम सुनाते है गायों को मधुर भजन

गोशाला में सुबह व शाम दोनों समय 2 घंटा लॉउड स्पीकर से मधुर आवाज में भजन सुनाए जाते हैं। गांव के बाबूलाल सारवाज, मुकेश डोटासरा, राजेन्द्र हुड्डा ने बताया कि भजन सुनाने से गायों का स्वास्थ्य अच्छा रहता है। साथ ही समाज में भी सकारात्मक ऊर्जा पैदा होती है।

नि:स्वार्थ सेवा करते हैं पूर्णसिंह

पुलिस विभाग से सेवानिवृत पूर्ण सिंह दिन भर गायों की नि:स्वार्थ भाव से सेवा करते हैं। वह सुबह शाम गायों को चारा खिलाना, पानी पिलाना सहित अनेक कार्य नि:शुल्क करते हैं। सहयोग के लिए एक मजदूर भी तीन हजार प्रति माह के वेतन पर गोशाला में कार्य करता है। ग्रामीण रविन्द्र सिंह, रोहन सिंह, रूपसिंह शेखावत व नरेश हुड्डा ने बताया कि प्रत्येक अमावस्या को गाय व बछड़ों को गुड़ व दळिया तथा प्रत्येक माह की ग्यारस को हरा चारा अवश्य खिलाया जाता है।

Hindi News / Jhunjhunu / दीनवा के ग्रामीणों ने एकजुट होकर खोल दी गोशाला

Copyright © 2024 Patrika Group. All Rights Reserved.