नोएडा की तर्ज पर औद्योगिक नगर का हो रहा विकास झांसी को बुन्देलखण्ड का औद्योगिक हब बनाने की कोशिश कर रही सरकार ने डिफेंस कॉरिडोर के बाद अब यहां नोएडा की तर्ज पर औद्योगिक नगर विकसित करने का निर्णय लिया है। प्रदेश में 47 साल बाद बनने जा रहे औद्योगिक नगर का विकास करने के लिए बुन्देलखण्ड विकास प्राधिकरण (बीडा) का गठन किया जा रहा है। 12 सितंबर को कैबिनेट ने झांसी में औद्योगिक नगर के प्रस्ताव पर मोहर लगा दी, लेकिन इसके लिए प्रशासन की ओर से पहले ही तैयारी कर ली गई थी।
प्रस्ताव में 4 नए गांव हुए शामिल प्रशासन ने महानगर के नजदीक 36 गांव में जमीनों की खरीद-फरोख्त पर रोक लगा दी थी। पर, अब कैबिनेट का प्रस्ताव मंजूर होने के बाद जमीनों की तस्वीर बदल गई है। नए प्रस्ताव में गांव की संख्या 33 रह गई है। दरअसल, पुराने प्रस्ताव में 7 गांव ऐसे थे, जो झांसी विकास प्राधिकरण के मास्टर प्लान में भी शामिल थे, जिन्हें बीडा से बाहर कर दिया गया है। इनके स्थान पर 4 नए गांव इसमें शामिल किए गए हैं। उगरवाहा, बमेर, बाजना, राजापुर, बछौनी, परासई, इमिलिया, अमरपुर, गागौनी, बदनपुर, बसाई, खैरा, बैदोरा, चमरौआ, खजराबुजुर्ग, खजरााखुर्द, मुरारी, किल्चवाराबुजुर्ग, मठ, गुढ़ा, बरुआपुरा, रमपुरा, किल्चवाराखुर्द, डोमागोर, डोंगरी, पुनावलीकला, गेवरा, सिमरा, सारमऊ, कलौथरा, ढिकौली, कोटखेरा, अम्बाबाय।
33 गांव में बीडा औद्योगिक विकास करेगा जानकारी देते हुए तहसीलदार सदर डॉ लालकृष्ण ने बताया है कि औद्योगिक नगर के लिए पहले 36 गांव चिन्हित किए गए थे, लेकिन 7 गांव जेडीए के मास्टर प्लान में शामिल होने के कारण उन्हें हटा दिया गया है, जिसके स्थान पर 4 नए गांव प्रस्ताव में शामिल किए गए हैं। अब 33 गांव में बीडा औद्योगिक विकास करेगी।