जैसे ही घड़ी की सुइयों ने 9 बजने का इशारा किया, तो सभी ने अपने घरों की लाइटें बंद कर दी। इस दौरान दरवाजे और बालकोनियों में मोमबत्ती, दीप और मोबाइल की टॉर्च की जगमगाहट ने अंधेरे में भी उजाले की अनुभूति का अहसास करवाया। जिले के बाशिंदों ने कोरोना से जंग जीतने के अपने संकल्प और ताकत का अहसास करवाया। सुखद बात यह रही कि स्थानीय बाशिंदों ने सोशल डिस्टेंसिंग की लक्ष्मण रेखा को भी पार नहीं किया। करीब नौ मिनट तक यह क्रम जारी रहा। शहर के सोनार दुर्ग, गोपा चौक, जिंदानी चौकी, सदर बाजार, हनुमान चौराहा, गांधी चौक, कलक्ट्रेट मार्ग, गड़ीसर मार्ग, नगरपरिषद रोड, पंचायत समिति चौराहा, जोधपुर मार्ग, बाड़मेर रोड, सहित शहर के भीतरी भागों में यही नजारा देखने को मिला।
गांवों में भी यही कहानी ( Jaisalmer News )
सरहदी जैसलमेर जिले के अधिकांश गांवों में भी अंधेरे में उजाले की शक्ति दिलाने के संकल्प के साथ घरों में लोगों ने बत्ती बुझाकर दीपक, मोमबत्ती व मोबाइल की फ्लेश जलाकर समर्थन दिया। कोरोना संकट से निपटने के लिए राष्ट्रीय स्तरीय मुहिम में पोकरण, रामदेवरा, नाचना, रामगढ़, चांधन, मोहनगढ़, लाठी, डाबला, फलसूंड, रामा, फतेहगढ़, भीखोड़ाई में भी ऐसा ही नजारा दिखाई दिया।