दरअसल, झुंझुनू, रामगढ़, देवली-उनियारा और सलूंबर सहित अन्य विधानसभा सीटों पर टिकट के दावेदारों और उनके समर्थकों ने नाराजगी जाहिर करते हुए बगावती तेवर दिखाए हैं।
सरकार बनने के बाद पहला चुनाव
इन चुनावों में सीएम भजनलाल शर्मा की सांख पर दांव पर लगी है। क्योंकि मुख्यमंत्री का पद संभालने के 10 माह बाद पहला उपचुनाव होने जा रहा है। आपको बता दें सरकार के लिए एक तरह से ये लिटमस टेस्ट की तरह ही है। ऐसे में उप चुनाव के परिणाम से सरकार के कामकाज का लेखा-जोखा भी होगा। इसलिए सीएम भजनलाल शर्मा ने खुद ही चुनावी कमान संभाल ली है। यह भी पढ़ें
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बताया जा रहा है कि डैमेज कंट्रोल के लिए सीएम भजनलाल कुछ भी करने को तैयार हैं। सूत्रों के मुताबिक 7 सीटों में से बीजेपी ने 5 सीट जीतने का लक्ष्य रखा है। ऐसे में बागी बीजेपी का खेल बिगाड़ सकते हैं, इसलिए सीएम भजनलाल डैमेज कंट्रोल के लिए पूरा जोर लगाए हुए हैं। इसके लिए झुंझुनूं में प्रभारी मंत्री अविनाश गहलोत, देवली-उनियारा में मंत्री हीरालाल नागर और रामगढ़ में गृह राज्य मंत्री जवाहर सिंह बेढ़म को ये जिम्मेदारी सौंपी है। वहीं, कुछ वरिष्ठ नेताओं को भी पर्दे के पीछे से बागियों को मनाने की जिम्मेदारी सौंपी गई है।
पार्टी में कोई बगावत नहीं- राठौड़
वहीं, भाजपा प्रदेश अध्यक्ष मदन राठौड़ ने हर सीट पर बागियों को मनाने का दावा किया है। मदन राठौड़ ने कहा कि हमारी पार्टी में कहीं कोई बगावत नहीं है। सभी सातों सीटों पर बीजेपी का कमल खिलेगा। राठौड़ ने कहा कि सभी सातों सीटों पर हम मजबूत हैं, एकजुट हैं और तय मान कर चलिए कि हम सभी सातों सीट जीतने जा रहे हैं। यह भी पढ़ें