वीडियो गेम अधिक खेलने से सेहत को नुकसान होने की पुष्टि पहले ही हो गई थी लेकिन नए शोध में आया है कि इससे सामाजिक गुण भी कम होते हैं। मोबाइल गेम खेलने वाले बच्चे अपने खेल में इतने व्यस्त रहते हैं कि वे घर, परिवार और समाज से दूर चले जाते हैं। वीडियो गेम खेलने से लडक़ों की तुलना में लड़कियों को अधिक नुकसान होता है। इसकी पुष्टि हाल ही नॉर्वे में हुए एक अध्ययन में हुई है। ये अध्ययन नॉर्वे की साइंस एंड टेक्नोलॉजी यूनिवर्सिटी (एनटीएनयू), सेंट ओलव हॉस्पिटल और कैलिफोर्निया यूनिवर्सिटी के विशेषज्ञों ने किया है। अध्ययन में पाया है कि वीडियो गेम खेलने से लडक़ों का सामाजिक विकास ज्यादा प्रभावित नहीं होता है। शोधकर्ता बीट वॉल्ड हाइजेन ने कहा, इंटरेक्टिव वीडियो गेम ने माता-पिता, शिक्षकों और नीति निर्माताओं के बीच चिंता पैदा कर रहा है। ये गेम्स कई तरह से बच्चों और किशोरों को प्रभावित कर रहे है। यह अध्ययन नॉर्वे में समान सामाजिक-आर्थिक बैकग्राउंड के 873 बच्चों पर छह वर्ष तक किया गया है। इसमें 6 से 12 वर्ष तक बच्चों पर दो-दो वर्ष अध्ययन किया गया है। इसमें कम वीडियो गेम खेलने वाली लड़कियों की बजाय जिन्होंने दस वर्ष की उम्र में ज्यादा वीडिया गेम खेला, वे सामाजिक कौशल के मामले में पिछड़ गई। इसी तरह 8-10 वर्ष की उम्र में ज्यादा गेम खेलने वाले लडक़े, 10-12 वर्ष की उम्र में कम खेलने वालों से बेहतर थे। विशेषज्ञों की सलाह है कि बच्चों को वीडियो गेम की जगह आउटडोर गेम्स खेलने के लिए प्रेरित करें।