यह काम होगा आसान
1- कानून बनने के बाद जयपुर, उदयपुर, जोधपुर, कोटा जैसे बड़े शहर आसानी से नए शहर बसाने पर काम कर सकेंगे। 2- एक ही कानून के तहत रीजनल प्लान, मास्टर प्लान, नए शहरों का डवलपमेंट प्लान, स्पेशल एरिया प्लान तैयार किए जा सकेंगे। अभी इनके लिए कोई विशेष अधिनियम या प्रावधान नहीं है। 3- प्लानिंग में शहरी के साथ ग्रामीण इलाका भी शामिल किया जा सकेगा। अभी तक ऐसा नहीं हो पा रहा है। 4- हरियाणा की तर्ज पर कॉम्पेक्ट सिटी डवलपमेंट होंगी यानी शहरों में इलाके में बसावट की अनुमति होगी। एक जगह डवलपमेंट पूरा होने के बाद दूसरे हिस्सों में योजनाएं लाई जा सकेंगी।
5- नगर नियोजन का ऐसा प्लान तैयार होगा, जिसमें कम क्षेत्रफल में घनी बसावट के साथ बड़ा खुला हिस्सा भी हो। लोगों को कम दूरी में मूलभूत सुविधाएं मिल सके। 6- शहरी क्षेत्रों के मास्टर प्लान भी अलग-अलग कानून के तहत तैयार करने पड़ रहे हैं। फिर ऐसा नहीं होगा।
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