यह होंगे प्रमुख कैंपेन
बारिश के दौरान जहां सड़कें टूट गई है, वहाँ सड़कें दुरूस्त कर यातायात को तुरंत बहाल किया जाएगा। जिन क्षेत्रों में भारी बारिश/बाढ़ के कारण सड़कें क्षतिग्रस्त हो गई है, उनको आपदा राहत कोष से ठीक करवाने के प्रस्ताव बनाकर जिला कलेक्टर को भिजवाए जाएंगे। यह भी पढ़ें – Rajasthan News : राजस्थान में 332.10 किमी सड़कों का होगा निर्माण, 196 करोड़ रुपए मंजूर पेच मरम्मत का कार्य 1 सितंबर से होगा शुरू
जेईएन और एईएन द्वारा सड़कों के गड्ढों/पैच का प्रारंभिक स्थिति निरीक्षण किया जाएगा। पैच मरम्मत के लिए संबंधित अधिकारी अभियन्ता उपखंड या निर्धारित क्षेत्र के लिए 30 अगस्त तक दर अनुबंध करेंगे। पेच मरम्मत का कार्य एक सितंबर से शुरू किया जाएगा जो कि हर हाल में 25 अक्टूबर तक पूरा करना होगा।
काम की होगी फोटोग्राफ़ी/वीडियोग्राफ़ी
ठेकेदारों को काम शुरू करने से पहले और काम पूरा होने के बाद सड़क की डिजिटल फ़ोटो और वीडियोग्राफी करवानी होगी। ठेकेदार का पैचिंग से पहले पैच की मार्किंग और नंबरिंग करवाना अनिवार्य है।
ठेकेदारों को 1 अगस्त से जारी किए गए नोटिस, जानें क्यों
गारंटी अवधि की सड़कों का रखरखाव न करने वाले ठेकेदारों को एक अगस्त से नोटिस जारी किए जा चुके हैं, जिनका कार्य 1 सितंबर से शुरू कर 5 अक्टूबर तक पूरा करना है। इस दौरान मूल ठेकेदार द्वारा नोटिस का उचित जवाब नहीं दिया जाता है तो मूल अनुबंध की दर पर उक्त काम किसी अन्य एजेंसी से करवाया जाएगा।
जिस सामग्री से हुआ निर्माण उसी से होगी मरम्मत
गारंटी अवधि की सड़कों की मरम्मत उसी गुणवत्ता और सामग्री से की जानी है, जो निर्माण के दौरान उपयोग में लायी गई है। अधिशासी अभियन्ता कोल्ड्रिंक सामग्री से पेच मरम्मत की अनुमति दे सकते हैं। गहरे गड्ढों की मरम्मत केवल WBM/WMM द्वारा करनी होगी। इस कैंपेन के दौरान सड़क सुरक्षा कार्य जैसे किलोमीटर स्टोंस पर पेंटिंग,रोड साइनेज,स्पीड ब्रेकर मार्किंग आदि का कार्य भी किया जाएगा।
और भी कार्य होंगे…
इसके अतिरिक्त विभाग के स्तर पर लेबर के माध्यम से सड़क किनारे पेड़-पौधों की साफ़-सफ़ाई, व्हाइटवॉश, पेड़ों पर पेंटिंग आदि कार्य करवाए जाएंगे। गड्ढों की मरम्मत कर उनकी गुणवत्ता का निरीक्षण संबंधित अधीक्षण अभियन्ता और अतिरिक्त मुख्य अभियंता करवाएंगे।