एकमुश्त समाधान योजना लागू
प्रमुख शासन सचिव माइंस एवं पेट्रोलियम टी. रविकान्त ने बताया कि मुख्यमंत्री भजन लाल शर्मा ने परिवर्तित बजट घोषणा में प्रदेश में अप्रधान खनिजों के उत्पादन एवं निर्गमन में वोल्यूमेट्र्कि एसेसमेंट की व्यवस्था करते हुए एकमुश्त समाधान योजना लागू करने की घोषणा की है। उन्होंने बताया कि परिवर्तित बजट घोषणा की क्रियान्विति में वोल्यूमेट्र्कि एसेसमेंट व्यवस्था लागू करने और इससे होने वाले प्रभाव से खनिज लीज व क्वारी लाइसेंसधारकों को एकबारीय राहत प्रदान करते हुए एकमुश्त समाधान योजना लागू कर दी है। यह भी पढ़ें
RGHS योजना की गाइडलाइन में बड़ा बदलाव, नया सिस्टम लागू पारदर्शी व्यवस्था दोनों के लिए होगी लाभदायक
टी. रविकान्त ने बताया कि माइनर मिनरल खानों में वोल्यूमेट्र्कि एसेसमेंट व्यवस्था लागू करने से खनन पट्टों के सर्वेक्षण एवं सीमांकन से सामने आने वाली विसंगतियों के कारण होने वाली शास्ति से एकबारीय समाधान के लिए राज्य सरकार ने लीजधारकों को राहत देने के लिए एकमुश्त समाधान योजना लागू की है। योजना के अनुसार 10 से 25 प्रतिशत राशि ही जमा कराने पर शेष राशि माफ कर दी जाएगी। इसके साथ ही भविष्य के लिए संबंधित लीज का मानक स्तर तय हो जाएगा। जिससे विवाद की स्थिति नहीं रहेगी। पारदर्शी व्यवस्था सरकार और लीजधारक दोनों के लिए लाभदायक हो जाएगी। यह भी पढ़ें : Rajasthan News : 31 दिसंबर तक नहीं कराया अगर ये काम तो, नहीं मिलेगा राशन
इसके आधार पर देय होगी Penalty
प्रमुख सचिव टी. रविकान्त ने बताया कि संबंधित खनिज धारक द्वारा वोल्यूमेट्र्कि एसेसमेंट ड्रोन या एरियल सर्वे द्वारा प्राप्त डेटा संबंधित खनिज कार्यालय में प्रस्तुत किया जाएगा। संबंधित एमई-एएमई द्वारा कार्यालय के दस्तावेजों के अनुसार उसकी जांच कर उत्पादन और निर्गमन का आंकलन किया जाएगा। उसके आधार पर Penalty देय होगी। इससे खनन क्षेत्र की अवैध खनन गतिविधियों का भी एकबारीय समाधान हो सकेगा। यह भी पढ़ें : RGHS और चिरंजीवी योजनाओं को लेकर अशोक गहलोत नाराज, भाजपा सरकार पर साधा निशाना
भविष्य के लिए विवाद नहीं रहेंगे – टी. रविकान्त
टी. रविकान्त ने बताया कि कि मुख्यतः तीन तरह के प्रकरण सामने आते हैं। पहले में खनन पट्टा धारक द्वारा अपने अधिकृत क्षेत्र में खनन और निर्गमन के अनुसार कम रवन्ना जारी करना, दूसरे अपने खनन क्षेत्र के साथ ही अन्य क्षेत्र में निगर्मन का रवन्ना जारी करना और तीसरा अपने क्षेत्र के आसपास के क्षेत्र में अवैध खनन करना। वोल्यूमेट्र्कि एसेसमेंट से खनन लीज क्षेत्र में धारक द्वारा किए गए वैध खनन, अवैध खनन या अन्य क्षेत्र के रवन्ना जारी होने की स्थिति साफ हो जाएगी। इस व्यवस्था की सबसे खास बात यह है कि खनिज लीज धारक द्वारा वोल्यूमेट्र्कि एसेसमेंट कराकर प्रस्तुत करने से भविष्य के लिए विवाद नहीं रहेंगे। यह भी पढ़ें : राजस्थान के 39 जिलों में इस रविवार को खुलेंगे सरकारी स्कूल, जानें वजह
लीजधारकों को भी मिल सकेगी राहत
टी रविकान्त ने बताया कि वोल्यूमेट्र्कि एसेसमेंट से खनिज क्षेत्र में पारदर्शिता, खनन क्षेत्र में लीजधारक या अन्य द्वारा अवैध खनन व निर्गमन पर प्रभावी रोक लग सकेगी। इससे खनिज क्षेत्र में अवैध गतिविधियों पर रोक के साथ ही राज्य सरकार के राजस्व में छीजत रुकेगी और एकबारीय समाधान योजना से लीजधारकों को भी राहत मिल सकेगी। यह भी पढ़ें : Weather Update : मौसम विभाग का Prediction, राजस्थान में 10 दिसम्बर से चलेगी शीत लहर
नोटिफिकेशन जारी
निदेशक माइंस भगवती प्रसाद कलाल ने बताया कि राज्य सरकार ने एकमुश्त समाधान योजना का नोटिफिकेशन जारी कर दिया है। इससे हजारों की संख्या में माइनर मिनरल लीजधारक लाभान्वित हो सकेंगे। यह भी पढ़ें : Rajasthan News : सीबीएसई का नया आदेश, वर्ष 2025 से जारी नहीं करेगा माइग्रेशन की हार्डकॉपी
2– संबंधित खनिज अभियंता व सहायक अभियंता को दिए अप्रधान खनिज लीज धारकों की लीज अवधि बढ़ाने के अधिकार।
3– एक हैक्टेयर से कम के प्लॉट की नीलामी की बिड राशि दस लाख से घटाकर दो लाख की।
माइनिंग सेक्टर में लगातार सुधार और सरलीकरण
1– राज्य की नई खनिज और एम-सेण्ड नीति जारी।2– संबंधित खनिज अभियंता व सहायक अभियंता को दिए अप्रधान खनिज लीज धारकों की लीज अवधि बढ़ाने के अधिकार।
3– एक हैक्टेयर से कम के प्लॉट की नीलामी की बिड राशि दस लाख से घटाकर दो लाख की।