ज्योतिषाचार्य पं. चंद्रमोहन दाधीच ने बताया कि आज सुबह 6:34 बजे से सूर्य के मीन राशि में प्रवेश के साथ ही मीन मलमास शुरू हो गया, जो 14 अप्रेल तक रहेगा। इस दौरान शादी विवाह, गृह प्रवेश, मुंडन संस्कार आदि मांगलिक कार्य नहीं हो पाएंगे। इसी बीच 2 अप्रेल से देव गुरु बृहस्पति अस्त हो जाएंगे, गुरु 30 अप्रेल तक अस्त रहेंगे। इस दौरान भी शुभ एवं मांगलिक कार्यों पर विराम रहेगा। हालांकि इस बीच 30 मार्च को रामनवमीं और 22 अप्रेल को अक्षय तृतीया (आखातीज) का स्वयं सिद्ध अबूझ मुहूर्त रहेगा, इसमें ही मांगलिक कार्य हो सकेंगे। अब लग्न मुहूर्त के लिए 2 मई तक इंतजार करना होगा।
5 माह के चातुर्मास के बाद देवशयनी एकादशी से शुरू होंगे सावे
इस बार 29 जून से देवशयन के बाद चातुर्मास शुरू हो जाएंगे, जो श्रावण अधिक मास रहने से 5 माह तक रहेंगे। 5 माह के चातुर्मास के बाद 23 नवंबर को देवउठनी एकादशी का पहला लग्न मुहूर्त रहेगा। इसके साथ फिर से मांगलिक कार्य शुरू होंगे। हालांकि 15 दिसम्बर को धनु मलमास शुरू जाएगा, ऐसे में फिर से मांगलिक कार्यों पर रोक लग जाएगी।
इस साल अबूझ सावे
30 मार्च — रामनवमी
22 अप्रेल — आखातीज
5 मई — पीपल पूर्णिमा
27 जून — भड़ल्या नवमीं
23 नवम्बर — देव प्रबोधनी एकादशी
पंचांगीय सावे मई माह में
2 मई — 7 रेखीय
3 मई — 8 रेखीय
10 मई — 7 रेखीय
11 मई — 7 रेखीय
16 मई — 9 रेखीय
21 मई — 9 रेखीय
27 मई — 6 रेखीय
29 मई — 8 रेखीय
30 मई — 9 रेखीय
जून में 8 दिन ही सावे
3 जून — 8 रेखीय
5 जून — 8 रेखीय
6 जून — 8 रेखीय
7 जून — 6 रेखीय
11 जून — 8 रेखीय
12 जून — 8 रेखीय
22 जून — 8 रेखीय
23 जून — 8 रेखीय
नवम्बर में 4 व दिसम्बर में 3 दिन सावे
23 नवम्बर — 6 रेखीय
27 नवम्बर — 6 रेखीय
28 नवम्बर — 6 रेखीय
29 नवम्बर — 10 रेखीय सबसे बड़ा
7 दिसम्बर — 7 रेखीय
8 दिसम्बर — 8 रेखीय
15 दिसम्बर — 9 रेखीय