बीमार पिता के लिए श्रवण कुमार बनी प्रभजोत, नौकरी छोड़ करा रही इलाज
जानकारी के अनुसार 9 अक्टूबर को मनन सड़क दुर्घटना में गंभीर रूप से घायल हो गया था। उसे ईएचसीसी अस्पताल में भर्ती करवाया गया। यहां डॉक्टरों ने उसे बचाने की पूरी कोशिश की पर शुक्रवार को डॉक्टरों के बोर्ड ने उसे ब्रेन डेड घोषित कर दिया। इसके बाद प्रदेश में मृतक अंगदान प्रत्यारोपण की जागरूकता के लिए कार्यरत संस्था मोहन फाउंडेशन जयपुर सिटीजन फोरम व डॉक्टरों ने मृतक के परिजनों को अंगदान करने के लिए प्रेरित किया। परिजनों के मानने पर ग्रीन कोरिडोर बनाकर मनन के लीवर को लीवर रोग विशेषज्ञ डॉ. अंकुर गुप्ता की अगुवाई में मेदांता निम्स लीवर ट्रांसप्लांट सेंटर भेजा गया।
जानकारी के अनुसार 9 अक्टूबर को मनन सड़क दुर्घटना में गंभीर रूप से घायल हो गया था। उसे ईएचसीसी अस्पताल में भर्ती करवाया गया। यहां डॉक्टरों ने उसे बचाने की पूरी कोशिश की पर शुक्रवार को डॉक्टरों के बोर्ड ने उसे ब्रेन डेड घोषित कर दिया। इसके बाद प्रदेश में मृतक अंगदान प्रत्यारोपण की जागरूकता के लिए कार्यरत संस्था मोहन फाउंडेशन जयपुर सिटीजन फोरम व डॉक्टरों ने मृतक के परिजनों को अंगदान करने के लिए प्रेरित किया। परिजनों के मानने पर ग्रीन कोरिडोर बनाकर मनन के लीवर को लीवर रोग विशेषज्ञ डॉ. अंकुर गुप्ता की अगुवाई में मेदांता निम्स लीवर ट्रांसप्लांट सेंटर भेजा गया।
कुमार विश्वास ने फेसबुक लाइव कर मुख्यमंत्री को घेरा, आयोजकों पर दबाव डालने के लगाए आरोप मृतक का हार्ट दिल्ली स्थित फोर्टिस अस्पताल में भेजा जहां देर रात तक हार्ट का सफल ऑपरेशन हो गया। दोनों किड़नियों को भी जयपुर के ईएचसीसी अस्पताल में दो मरीजों के लगाया गया। मेदांता निम्स लीवर ट्रांसप्लांट सेंटर के डॉ. अंकुर गुप्ता ने बताया कि लीवर लगाने में सफलता मिली है। जिस मरीज के लीवर लगाया गया है, उसे पूरी तरह से ऑब्जरवेशन में रखा है ताकि किसी तरह का संक्रमण नहीं लगी। उधर मनन के पार्थिव शरीर को पूरे आदर सम्मान के साथ मोहन फाउंडेशन जयपुर सिटीजन फोरम व अस्पताल प्रशासन के सहयोग से शनिवार दोपहर को विदा किया गया।