फाउंडेशन की चेयरपर्सन नीता मुकेश अंबानी ने बताया कि इस मौके पर पद्मश्री कालबेलिया डांसर व लोक कलाकार गुलाबो सपेरा से उनके संघर्ष की कहानी और जीवन के अनछुए पहलुओं पर चर्चा की। उन्होंने बताया कि रूढि़वाद को चुनौती देने वाली गुलाबो की कामयाबी से उनके समुदाय के लोगों की सोच बदली और उनके समुदाय की बेटियां बेहतर शिक्षा प्राप्त कर रही हैं व प्रशिक्षित कालबेलिया नर्तक हैं।
इस दौरान गुलाबो ने बताया कि बेटी के रूप में जन्म लेने के बाद उन्हें जिंदा दफन कर दिया था। अपने हुनर को दुनिया में पहचान दिलाने और पद्मश्री जीतने के बाद उन्हें अपने समुदाय में कन्या भ्रूण हत्या की परंपरा को समाप्त करने का साहस मिला। साथ ही उनके समाज में भी सकारात्मक बदलाव आया है।