जयपुर

जयपुर पूर्व राजपरिवार की छिन सकती है ये बेशकीमती संपत्ति, ट्रस्ट का 30 साल पुराना दावा खारिज

Jaipur News Update: जयपुर के पूर्व राजपरिवार से जुड़े महाराजा सवाई मानसिंह द्वितीय म्यूजियम ट्रस्ट का तीस साल पुराना दावा खारिज कर दिया गया है।

जयपुरSep 19, 2024 / 09:25 am

Supriya Rani

Jaipur News: शहर के अधीनस्थ न्यायालय ने जलेब चौक स्थित खाली जमीन पर कब्जे को लेकर पूर्व राजपरिवार से जुड़े महाराजा सवाई मानसिंह द्वितीय म्यूजियम ट्रस्ट का तीस साल पुराना दावा खारिज कर दिया।
न्यायालय ने सवाल उठाया कि कोवेनेंट की शर्त के अनुसार, ट्रस्ट को जलेब चौक के रखरखाव का अधिकार नहीं था तो किस अधिकार से संपत्ति को लाइसेंस पर दिया गया। उधर, दावा खारिज करने के इस आदेश के खिलाफ ट्रस्ट ने अपील पेश कर दी है, जिस पर आज गुरुवार को सुनवाई होगी।
जयपुर महानगर-द्वितीय क्षेत्र के अपर सिविल न्यायालय (उत्तर) ने दावा खारिज करने का आदेश दिया। दावे में कहा गया कि जयपुर के तत्कालीन महाराजा स्वर्गीय सवाई मानसिंह ने अपने जीवनकाल में वर्ष 1959 में ट्रस्ट का गठन किया। वर्ष 1972 में ट्रस्ट के चेयरमैन भवानी सिंह ने ट्रस्ट को संपत्तियां सौंप दी।
जलेब चौक की खाली जमीन पर ट्रस्ट ने लाइसेंस दे रखे हैं, जहां थड़ी और टीनशेड लगाकर सामान बेचा जा रहा था। नगर निगम ने 28 जून 1994 को दुकानदारों से सामान हटाने को कहा और अगले दिन सामान जब्त कर निगम ने थड़ियों और टीन शेड को हटाना शुरू कर दिया।
इस पर ट्रस्ट ने चौकीदार नियुक्त कर दिए, ताकि निगम कब्जा न कर सके। ट्रस्ट की ओर से अधिवक्ता रमेश चन्द्र शर्मा ने निगम को इस जमीन पर कब्जा न करने के लिए पाबंद करने का आग्रह किया। निगम के अधिवक्ता मुकेश जोशी ने इसका विरोध करते हुए कहा कि पूर्व राजपरिवार ने कानून से बचने के लिए ट्रस्ट का गठन किया। ट्रस्ट को जलेब चौक की खाली जमीन का उपयोग करने का अधिकार नहीं है। जयपुर रियासत के विलय के समय जमीन का कब्जा सरकार को सौंप दिया गया। कोवेनेंट के अनुसार, सरकार इसे संभाल रही है।
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