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सीजे से वार्ता करना चाहते हैं न्यायिक कर्मचारी, छुट्टियों के समायोजन पर अड़े आंदोलनकारी
जोशी ने बताया कि एफआईआर दर्ज हो चुकी है और उसकी निष्पक्ष जांच के संबंध में पुलिस कमिश्नर ने वार्ता में आश्वस्त किया है। इसके साथ ही कर्मचारियों की छुट्टियों का समायोजन कर दिया जाएगा। मुख्य नययाधीश ने आश्वस्त किया है कि आंदोलन पर गए किसी भी कर्मचारी के खिलाफ कोई आदेश दुर्भावना से नहीं जारी किया जाएगा। सुभाष की मौत के बाद उसके आश्रित को अनुकंपा नियुक्ति देने की कार्रवाई शुरू की जाएगी। वहीं, 50 लाख रूपए के मुआवजे के संबंध में भी चीफ जस्टिस ने निर्देश दिए हैं। 18 नवंबर से चल रहा था आंदोलन कर्मचारी नेता बद्रीलाल चौधरी ने बताया कि कर्मचारियों ने सुभाष मेहरा की मौत के बाद लंबा आंदोलन किया। यह सभी कर्मचारियों की एकता की जीत हैं। बता दें कि जयपुर जिले की अधीनस्थ अदालतों में कर्मचारी 18 नवंबर से आंदोलन पर थे। जबकि पूरे प्रदेश की अदालतों में यह कार्य बहिष्कार 30 नवंबर से शुरू हो चुका था। इसके कारण करीब 20 लाख मामलों की सुनवाई प्रभावित हुई है।