वर्षों से रह रहे पुलिया के नीचे सीतारामजी मंदिर के पास रहने वाले रामप्रकाश व उनके तीन भाइयों के परिवार का कहना था कि वे कई पीढिय़ों से यहां रह रहे हैं। डिमार्केशन के बाद मकान का बड़ा हिस्सा टूटेगा। इसका मुआवजा मिलना चाहिए।
कारोबार बंद पुलिया के नीचे स्थित बाजार व सब्जी मंडी में सुबह से ही गहमा-गहमी रही। हालांकि खरीददारी ठप रही। दुकानों के बाहर या तो जेडीए दस्ता नाप-जोख करता रहा या पुलिस जाब्ता समझाइश करता नजर आया।
श्रेय लेने का विरोध, नारेबाजी सर्वे स्थल पर घूम रहे कुछ स्थानीय नेताओं का व्यापार मंडल ने विरोध किया। दोनों पक्षों की ओर से नारेबाजी भी हुई। तनातनी बढ़ती देख पुलिस अधिकारियों ने बीच-बचाव किया। व्यापारियों का कहना था कि व्यापारी जेडीए को सहयोग दे रहे हैं तो झोटवाड़ा निवासी की आड़ में कुछ लोगकामकाज क्यों प्रभावित कर रहे हैं। ये लोग केवल श्रेय लेने घूम रहे हैं
मनीष कुमार, उपायुक्त, जेडीए ने कहा की व्यापारियों के सहयोग से सर्वे-डिमार्केशन शुरू कर दिया गया है। मुआवजा-पुनर्वास को लेकर व्यापारियों से कोई विवाद नहीं है। जो प्रस्ताव उनकी तरफ से आया है, उस पर भी मंथन जारी है।