जयपुर स्थित पीसीसी मुख्यालय में गुरुवार को आयोजित प्रेस कॉन्फ्रेंस को संबोधित करते हुए कहा कि ईआरसीपी पर समझौते को लेकर केंद्रीय जल संसाधन मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत और प्रदेश के मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा प्रदेश की जनता को गुमराह कर रहे हैं। हाल ही में उन्होंने शेखावाटी में हरियाणा का पानी लाने के लिए एक एमओयू किया है। प्रदेशभर में ऐसे पोस्टर लग हुए है जैसे मुख्यमंत्री भजनलाल भागीरथ बनकर आए हैं।
डोटासरा ने कि यमुना जल समझौते में हरियाणा सरकार के सामने समर्पण करके भाजपा सरकार ने राजस्थान की जनता के साथ धोखा किया है। सच ये है कि 24 हजार क्यूसेक पानी पहले हरियाणा लेगा, इसके बाद अगर 10-15 दिन बरसात में या बाढ़ के समय अतिरिक्त पानी आया तो उसमें भी एक चौथाई पानी का हिस्सा हरियाणा लेगा। इसके बाद अगर कुछ बचेगा तो वो शेखावाटी की जनता को मिलेगा।
उन्होंने कहा कि आज तक ईआरसीपी को लेकर एमओयू नहीं मिला है और ना ही हरियाणा से पानी का समझौता अभी तक हो पाया है। ये लोग यमुना के पानी को लेकर समझौता नहीं कर सकते है, इनका तो सिर्फ पाइप लाइन बिछाने का एमओयू होना था। एक तरफ राज्य सरकार यमुना जल समझौते के लिए राजस्थान के हिस्से 577 एमसीएम जो वर्षाकाल में 123 दिन में मिलना है, जिसके लिए धन्यवाद सभाएं आयोजित कर रही है। दूसरी तरफ हरियाणा के मुख्यमंत्री ना के बराबर पानी देने की बात कर रहे है। यह समझौता है या जनता को बरगलाने की नौटंकी की जा रही है।
पीसीसी चीफ गोविंद सिंह डोटासरा ने कहा कि हमारा दुर्भाग्य है कि सत्ता में बैठे हुए लोग कागज नहीं दे रहे हैं और सिर्फ भाषण देने में लगे हुए हैं। ये लोग प्रदेश की जनता के साथ विश्वासघात कर रहे हैं और आगामी लोकसभा चुनाव में वोट मांगने की कोशिश कर रहे हैं। लेकिन, सच्चाई तो ये है कि जोधपुर में नारे यूं ही नहीं लग रहे हैं बल्कि लोगों ने इनको आईना दिखाना शुरू कर दिया है।