करीब 12 बजे की घटना है और 3.30 पर महारिया गांव में लगे सीसीटीवी में आरोपी पैदल जाते हुए नजर आ रहे हैं। पुलिस ने पीछा क्यों नहीं किया? नाकाबंदी कर आरोपियों का पीछा करना चाहिए था। गुस्साए मंत्री ने नैन को निर्देश दिए कि इस घटना में जो भी लापरवाह हैं, उन्हें हटाया जाए। जब तक वारदात का खुलासा नहीं होता अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक लालचंद कायल को लालसोट मुख्यालय पर लगाया जाए। मंत्री ने पुलिस पर हाईवे पर ट्रकों से अवैध वसूली के आरोप भी लगाए। पुलिस अधीक्षक ने मंत्री को बताया कि मंडावरी की घटना को लेकर टीमें लगा रखी हैं।
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एसपी पर ऐसे भड़के मंत्री
— पुलिस जाप्ता फायरिंग की बात सुनकर ही लौट गया। जब एसएचओ आपने लगाए हैं तो जिम्मेदारी भी आपकी होगी। घटना से सरकार की छवि खराब हुई है।
— जिन पुलिस कांस्टेबल को दो साल से अधिक समय हो गया, उन्हें बदलो। कई तो इतने जम गए कि दलाली करने लगे हैं। सरकार ने जिन गांवों में थाना खोला है, वहीं अपराधी घटना कर जाते हैं। फिर क्या फायदा।
यह है मामला
लालसोट के मंडावरी कस्बे में 29 अक्टूबर को हथियारबंद चोरों ने तीन मकानों में चोरी के बाद ग्रामीणों पर ताबड़तोड़ फायरिंग की। इसमें एक परिवार के पिता- पुत्र समेत चार ग्रामीण घायल हो गए। चोर मीना के आवास से करीब दौ सौ मीटर की दूरी पर स्थित उनके खेतों की तारबंदी काटकर रेलवे लाइन की ओर पैदल ही भाग छूटे। ग्रामीण जागे तो चोरों ने फायरिंग कर दी।