गौरतलब है कि सीएम ओएसडी लोकेश शर्मा की गिरफ्तारी से अंतरिम राहत हटाने के लिए दिल्ली पुलिस ने दिल्ली हाईकोर्ट में याचिका दायर की थी, जिसकी सुनवाई 20 फरवरी को होनी है। इससे पहले क्राइम ब्रांच ने लोकेश शर्मा से कुछ और पहलुओं पर पूछताछ के लिए उन्हें नोटिस भेजकर तलब किया है। इससे पहले क्राइम ब्रांच की जांच टीम के अफसरों ने दो बार उनसे लंबी पूछताछ में कई सवालों के जवाब दर्ज़ किए हैं।
‘जागरूक नागरिक होने के नाते उठाया कदम’
सीएम ओएसडी ने एक बार फिर दोहराते हुए माना कि उन्होंने ऑडियो क्लिप को मीडिया संस्थानों तक पहुंचाया था। उन्होंने कहा कि ऑडियो क्लिप उन्हें सोशल मीडिया के माध्यम से मिला था। इस क्लिप में लोकतांत्रिक तरीके से चुनी हुई सरकार को विधायकों की खरीद-फरोख्त करके गिराने की साजिश रचने की जानकारी सामने आई थी। लिहाज़ा एक जागरूक नागरिक होने के नाते उन्होंने अपना दायित्व समझा कि इसे मीडिया को सर्कुलेट करना चाहिए, जो उन्होंने किया।
‘जांच में पूरा कर रहा हूँ सहयोग’
क्राइम ब्रांच के समक्ष पेश होने से पहले नई दिल्ली में मीडिया से बातचीत करते हुए सीएम ओएसडी ने कहा कि वे इस प्रकरण को लेकर जारी जांच-पड़ताल और पूछताछ में पूरा सहयोग कर रहे हैं। जब-जब भी उन्हें बुलाया जा रहा है हाज़िर हो रहे हैं। उन्होंने कहा कि ये छठी बार है जब नोटिस जारी कर बुलाया गया है।
सीएम ओएसडी ने कहा कि इससे पहले दो बार पूछताछ के लिए हाज़िर हो चुका हूँ जिसमें हर बार चार से पांच घंटे की पूछताछ हुई है। पूछे गए हर सवाल का जवाब दिया जा रहा है।
‘एफआईआर ख़त्म करने की लगी है याचिका’
ओएसडी लोकेश शर्मा ने कहा कि इस प्रकरण से उनका कोई लेना-देना नहीं है। यही वजह है कि उनके खिलाफ दर्ज एफआईआर को ख़त्म करने का आग्रह करते हुए दिल्ली हाईकोर्ट में याचिका दाखिल की हुई है, जिसकी सुनवाई भी 20 फरवरी को होनी है। उन्हें उम्मीद है कि उन्हें न्याय मिलेगा।
ये है मामला-
विधायकों की कथित खरीद-फरोख्त से जुड़ा एक ऑडियो वायरल होने के बाद ये मामला सुर्ख़ियों में आया था। गहलोत सरकार ने आरोप लगाते हुए दावा किया था कि भाजपा असंवैधानिक तरीके से विधायकों की खरीद-फरोख्त करके उनकी सरकार गिराने की साजिश रच रही है। वायरल ऑडियो क्लिपिंग में केंद्रीय जलशक्ति मंत्री व जोधपुर सांसद गजेंद्र सिंह शेखावत की आवाज़ होने का भी दावा किया जा रहा था।
हालांकि केंद्रीय मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत ने सभी आरोपों को नकारते हुए ऑडियो क्लिप वायरल करने के लिए सीएम ओएसडी लोकेश शर्मा के खिलाफ दिल्ली क्राइम ब्रांच में नामजद एफआईआर दर्ज करवाई थी। रिपोर्ट में सरकार पर जनप्रतिनिधियों के फोन टैप करवाने की आशंका भी व्यक्त की गई थी।