जयपुर किराना एवं ड्राई फ्रूट कमेटी के अध्यक्ष प्रहलाद राय अग्रवाल ने बताया कि इस साल अमेरिका में बादाम गिरी की पैदावार करीब 15 फ़ीसदी ज्यादा हुई है। वैसे भी कोरोना संक्रमण के कारण अमेरिका में बिकवाली दबाव भी अधिक है। यही कारण है कि पोर्ट पर बादाम गिरी का भारी स्टॉक जमा हो गया है। लिहाजा इसकी कीमतों में और गिरावट के आसार व्यक्त किए जा रहे हैं।
इसी प्रकार फूल मखाने में भी नरमी का रुख देखा जा रहा है। राजभोग मखाना 50 रूपए नीचे आकर 505 रूपए प्रति किलो थोक में बेचा जा रहा है। वहीं गेहूं की कीमतों में कोई उल्लेखनीय फेरबदल नहीं है जबकि सरसों में मिल डिलीवरी 42 प्रतिशत तेल कंडीशन के भाव 4500 रूपए प्रति क्विंटल पर मजबूत बोले जा रहे हैं।
मंडी कानून में बदलाव
केंद्र सरकार कृषि जिंसों में अंतर—राज्यीय और अंतरराज्यीय व्यापार के विनियमन के लिए संविधान की सातवीं अनुसूची में प्रदत्त अपनी शक्तियों का उपयोग करेगी। हालांकि यह कृषि उपज विपणन समितियों (एपीएमसी) के दायरे से बाहर किया जाएगा। एपीएमसी पहले की तरह ही अपने कार्य करती रहेंगी। सरकार इसके तहत किसानों और कंपनियों के बीच समझौते के लिए भारतीय संविदा अधिनियम,1872 के प्रावधान में बदलाव पर विचार कर रही है।