मान्यता नहीं ली तो छात्रों का नामांकन ही नहीं होगा
एआईसीटीई ने टेक्निकल एजुकेशन रेगुलेटरी चार्जेसस भी तय किए हैं। एआईसीटीई से अप्रूवल लेने के बाद फैकल्टी, स्टूडेंट और इंस्टीट्यूट को 11 तरह के फायदे मिलेंगे। यह सत्र 2024-25 से ही अनिवार्य कर दिए गए हैं। काउंसिल ने कहा है कि मान्यता नहीं मिलेगी तो नामांकन नहीं होगा। एआईसीटीई ने कहा कि एक बार बीसीए, बीबीए, बीएमएस कोर्स ऑफ्र करने वाले इंस्टीट्यूट को एआईसीटीई की मंजूरी मिल जाती है, तो वे इंजीनियरिंग एंड टेक्नोलॉजी, प्लानिंग, एप्लाइड आर्ट एंड क्राफ्ट, डिजाइन में अन्य एआईसीटीई कोर्स शुरू करने के लिए आवेदन कर सकते हैं। एआईसीटीई ने एक प्रशासनिक व्यवस्था के तहत एक ही परिसर में कई कोर्स की पेशकश की मंजूरी देने की पॉलिसी तय की है।
एमबीए और एमसीए की तरह मान्यता अनिवार्य की गई
जिन कॉलेजों में एमबीए और एमसीए के कोर्स चल रहे हैं वे ऑल इंडिया काउंसिल फॉर टेक्नीकल एजुकेशन (एआईसीटीई) की मान्यता लेते हैं, लेकिन ऐसा पहली बार हो रहा है कि इन्हीं कोर्स के स्नातक स्तर यानी बीबीए और बीसीए के लिए भी एआईसीटीई की मान्यता लेनी पड़ रही है। पत्रिका ने जब इस मामले में संभाग के कुछ प्रमुख कॉलेजों से बात की तो उनका कहना था कि वे अभी तैयारी नहीं कर पाए हैं अगर कुछ और समय मिलता है तो मान्यता के मापदंड पूरा करते हुए आवेदन कर लेंगे।
एआईसीटीई ने टेक्निकल एजुकेशन रेगुलेटरी चार्जेसस भी तय किए हैं। एआईसीटीई से अप्रूवल लेने के बाद फैकल्टी, स्टूडेंट और इंस्टीट्यूट को 11 तरह के फायदे मिलेंगे। यह सत्र 2024-25 से ही अनिवार्य कर दिए गए हैं। काउंसिल ने कहा है कि मान्यता नहीं मिलेगी तो नामांकन नहीं होगा। एआईसीटीई ने कहा कि एक बार बीसीए, बीबीए, बीएमएस कोर्स ऑफ्र करने वाले इंस्टीट्यूट को एआईसीटीई की मंजूरी मिल जाती है, तो वे इंजीनियरिंग एंड टेक्नोलॉजी, प्लानिंग, एप्लाइड आर्ट एंड क्राफ्ट, डिजाइन में अन्य एआईसीटीई कोर्स शुरू करने के लिए आवेदन कर सकते हैं। एआईसीटीई ने एक प्रशासनिक व्यवस्था के तहत एक ही परिसर में कई कोर्स की पेशकश की मंजूरी देने की पॉलिसी तय की है।
एमबीए और एमसीए की तरह मान्यता अनिवार्य की गई
जिन कॉलेजों में एमबीए और एमसीए के कोर्स चल रहे हैं वे ऑल इंडिया काउंसिल फॉर टेक्नीकल एजुकेशन (एआईसीटीई) की मान्यता लेते हैं, लेकिन ऐसा पहली बार हो रहा है कि इन्हीं कोर्स के स्नातक स्तर यानी बीबीए और बीसीए के लिए भी एआईसीटीई की मान्यता लेनी पड़ रही है। पत्रिका ने जब इस मामले में संभाग के कुछ प्रमुख कॉलेजों से बात की तो उनका कहना था कि वे अभी तैयारी नहीं कर पाए हैं अगर कुछ और समय मिलता है तो मान्यता के मापदंड पूरा करते हुए आवेदन कर लेंगे।
बस्तर संभाग के इन कॉलेजों में चल रहे बीबीए और बीसीए के कोर्स
कॉलेज कोर्स
क्राइस्ट कॉलेज जगदलपुर- बीबीए
सूर्या कॉलेज जगदलपुर – बीबीए
पीजी कॉलेज जगदलपुर- बीसीए
स्वामी आत्मानंद जगदलपुर- बीसीए
गुंडाधुर कॉलेज कोण्डागांव- बीसीए
भानुप्रतापदेव कॉलेज कांकेर- बीसीए
स्वामी आत्मानंद नारायणपुर- बीसीए
दंतेश्वरी कॉलेज, दंतेवाड़ा – बीसीए
क्राइस्ट कॉलेज जगदलपुर- बीबीए
सूर्या कॉलेज जगदलपुर- बीबीए
कॉलेज कोर्स
क्राइस्ट कॉलेज जगदलपुर- बीबीए
सूर्या कॉलेज जगदलपुर – बीबीए
पीजी कॉलेज जगदलपुर- बीसीए
स्वामी आत्मानंद जगदलपुर- बीसीए
गुंडाधुर कॉलेज कोण्डागांव- बीसीए
भानुप्रतापदेव कॉलेज कांकेर- बीसीए
स्वामी आत्मानंद नारायणपुर- बीसीए
दंतेश्वरी कॉलेज, दंतेवाड़ा – बीसीए
क्राइस्ट कॉलेज जगदलपुर- बीबीए
सूर्या कॉलेज जगदलपुर- बीबीए
मान्यता के बाद छात्रों और संस्था को यह फायदे होंगे
– एआईसीटीई से ऑफर की जाने वाली स्कॉलरशिप का लाभ मिल सकेगा।
– एआईसीटीई द्वारा आयोजित नेशनल और इंटरनेशनल प्रतियोगिताओं में भाग ले सकेंगे।
– इंटर्नशिप स्कीम के लिए पात्र हो सकेंगे।
– इंस्टीट्यूट एआईसीटीई की स्कीम के तहत दी जाने वाले फाइनेंशियल सपोर्ट के लिए पात्र होंगे।
– लीडिंग इंडस्ट्री के साथ किए गए एआईसीटीई के एमओयू का फायदा मिलेगा।
– एआईसीटीई से ऑफर की जाने वाली स्कॉलरशिप का लाभ मिल सकेगा।
– एआईसीटीई द्वारा आयोजित नेशनल और इंटरनेशनल प्रतियोगिताओं में भाग ले सकेंगे।
– इंटर्नशिप स्कीम के लिए पात्र हो सकेंगे।
– इंस्टीट्यूट एआईसीटीई की स्कीम के तहत दी जाने वाले फाइनेंशियल सपोर्ट के लिए पात्र होंगे।
– लीडिंग इंडस्ट्री के साथ किए गए एआईसीटीई के एमओयू का फायदा मिलेगा।