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जगदलपुर

यहां खाई जाती है लाल चीटियों की चटनी, बुखार से लेकर कई बीमारियां होती हैं दूर

Chapda Chutney Bastar: भारत अपने पारंपरिक-अपरंपरागत व्यंजनों के लिए जाना जाता है, जिसका जनजाति और स्थानीय समुदाय अपने सभी राज्यों में आनंद लेते हैं। छत्तीसगढ़ के बस्तर का प्रसिद्ध आदिवासी खाद्य पदार्थ है चापड़ा चटनी।

जगदलपुरApr 14, 2023 / 07:31 pm

Sucheta Markam

लाल चीटियों की चटनी

लाल चीटियों की चटनी

Chapda Chutney Bastar: भारत अपने पारंपरिक-अपरंपरागत व्यंजनों के लिए जाना जाता है, जिसका जनजाति और स्थानीय समुदाय अपने सभी राज्यों में आनंद लेते हैं। छत्तीसगढ़ के बस्तर का प्रसिद्ध आदिवासी खाद्य पदार्थ है चापड़ा चटनी(Chapda Chutney Bastar)। बस्तर के आदिवासियों द्वारा बनाई खाई जाने वाली इस चटनी को फॉर्मिक एसिड, आयरन, कैल्शियम, जिंक, विटामिन बी-12 का अच्छा स्रोत माना जाता है और यह दिल और आंखों को स्वस्थ रखता है।

आमतौर पर आपको छत्तीसगढ़ के पारंपरिक आदिवासी लोग चश्मा पहने हुए नहीं मिलेंगे और वे अपना सारा काम रात में भी आसानी से कर सकते हैं। छपरा का अर्थ है पत्ते से बनी टोकरी और चटनी एक प्रकार का भारतीय जैम है जिसमें पारंपरिक मसाले, नमक आदि शामिल होते हैं। यह चटनी छत्तीसगढ़ के लिए स्वदेशी क्यों है, इसका कारण यह है कि बस्तर के जंगलों में लाल चींटियाँ बहुतायत में पाई जाती हैं।


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यहाँ पत्ते की टोकरी का तात्पर्य लाल चींटियों(Chapda Chutney Bastar) के घोसले से है। गर्मी के दिनों में छत्तीसगढ़ के साल की लकड़ी/आम के जंगलों में लाल चींटियां बहुतायत में पाई जाती हैं। लाल चींटी छोटे पत्तों को जोड़कर या वन क्षेत्र के अंदर पेड़ पर बड़े पत्तों को ऊंचा करके घोंसला बनाती है। वे उन समूहों के अंदर अंडे देते हैं। वे अधिकांश देशी प्रजातियों की तुलना में अधिक आक्रामक हैं, इसलिए कई प्रजातियों को उनके स्थानीय आवास से दूर धकेल दिया है।

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