प्राध्यापकों ने खड़े किए हाथ बीए द्वितीय वर्ष की परीक्षा में 12 हजार छात्र शामिल हुए थे। परीक्षा के लिए जानकीरमण कॉलेज, केशरवानी कॉलेज, सेंट अलॉयसियस कॉलेज आदि को परीक्षा केंद्र बनाया गया था। विद्यार्थी सुबह 11 बजे केंद्रों में पहुंचे तो उन्हें अंग्रेजी विषय के प्रश्न-पत्र बांटे गए। इसमें अधिकतर सवाल बीए प्रथम वर्ष के भारतीय संस्कृति, महात्मा गांधी और महाभारत काल से सम्बंधित सवाल पूछे गए थे। छात्रों ने इस पर नाराजगी दर्ज कराई। जानकीरमण कॉलेज केंद्र में तैनात अमले ने हाथ खड़े करते हुए कहा कि परीक्षा का आयोजन रानी दुर्गावती विश्वविद्यालय करा रहा है। प्रश्न-पत्र का निर्माण और वितरण भी विवि ने किया है। इसमें हम कुछ नहीं कर सकते।
प्रश्न-पत्र बनाने वाले पर हो कार्रवाई
छात्रों सुधांशु, दीपिका आदि ने कहा कि उन्होंने साल भर मेहनत कर परीक्षा की तैयारी की। लेकिन विवि की लापरवाही के कारण उनकी मेहनत बेकार हो गई। उन्होंने विश्वविद्यालय प्रशासन से मामले को गम्भीरता से लेने और प्रश्न-पत्र बनाने वाले प्राध्यापक पर कड़ी कार्रवाई करने की मांग की।
छात्रों सुधांशु, दीपिका आदि ने कहा कि उन्होंने साल भर मेहनत कर परीक्षा की तैयारी की। लेकिन विवि की लापरवाही के कारण उनकी मेहनत बेकार हो गई। उन्होंने विश्वविद्यालय प्रशासन से मामले को गम्भीरता से लेने और प्रश्न-पत्र बनाने वाले प्राध्यापक पर कड़ी कार्रवाई करने की मांग की।
पेपर सेटर की गलती है या कोई और कारण, इसकी जांच कराई जा रही है। मामले में जो भी दोषी होगा, उसके विरु्दध विवि प्रशासन कार्रवाई करेगा। पेपर निरस्त कर दिया गया है। डॉ. रशिम टंडन, परीक्षा नियंत्रक, रानी दुर्गावती विश्वविद्यालय