इंदौर

कोई परिचित आपके बच्चे को ‘चॉकलेट’ खिला रहा तो Alert ! आ सकती है बड़ी मुसीबत

बच्चों को डिफेंस ट्रेनिंग देते हैं जिसमें राशिद खान, विक्रम देवड़ा की टीम कार्य कर रही है…..

इंदौरMay 25, 2023 / 03:59 pm

Astha Awasthi

Children

इंदौर। शहर से लगातार नाबालिग के गुम हो जाने की घटना परिवारों को चिंता में डाल रही है। आंकड़ों पर नजर दौड़ाएं तो प्रतिदिन पुलिस दो से अधिक बच्चों को परिवार से मिलवा रही है। इनमें लड़कियां ज्यादा है। बच्चों के गुम होने और उनके मिलने की घटनाओं को याद रखने के लिए 25 मई को अंतरराष्ट्रीय गुमशुदा बाल दिवस मनाया जाता है। इसका मुख्य उद्देश्य बच्चों के साथ उनके परिवार को जागरूक करना है।

शहर के थाने और महिला अपराध शाखा भी गुम बच्चों को तलाशने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहे हैं। स्लम एरिया, श्रमिक क्षेत्र, ग्रामीण क्षेत्र में बच्चों को शिक्षित करने का काम जारी है। महिला अपराध शाखा एसीपी नंदिनी शर्मा ने बताया कि बच्चों को शिक्षित करने के लिए घर छोड़कर न जा… अभियान चला रहे हैं। महीने में होने वाले 10 कार्यक्रम में नुक्कड़ नाटक भी होते हैं। इसमें बच्चों को डिफेंस ट्रेनिंग देते हैं जिसमें राशिद खान, विक्रम देवड़ा की टीम कार्य कर रही है।

परिवार रखें ध्यान

बच्चों से परिजन मित्रवत व्यवहार करें। यदि बच्चे के व्यवहार में बदलाव आ रहा है तो उससे बात करें। पता करें कि बच्चा किसके साथ रहता है। मोबाइल में अधिक क्या देख रहा है। यह जानकर कमियों में सुधार ला सकते हैं। बच्चों के सबसे करीब रिश्तेदार होते हैं। जैसे कोई परिचित उन्हें चॉकलेट खिला रहा है या कोई उन्हें कहीं ले जा रहा है। ऐसी गतिविधियों को भी वॉच करना चाहिए।

साइबर क्राइम के प्रति जागरूकता

बच्चों और उनके माता-पिता को महिला अपराध और साइबर क्राइम के प्रति जागरूक करते हैं। खासतौर पर कार्यक्रम में बच्चों को सिखाते कि वे किसी के बहकावे में न आए। किसी अनजान पर विश्वास कर अपना घर छोड़कर न जाए। वर्तमान में सबसे अधिक बच्चे हॉस्टल में रहकर पढ़ाई कर रहे है। ऐसे स्थानों को चिन्हित कर वहां जागरूकता अभियान जारी है।

इन तरीकों से तलाश

सोशल मीडिया पर गुम बच्चों के फोटो-वीडियो प्रसारित कर पुलिस उनकी तलाश कर रही है। जिस स्थान से बच्चा गायब हुआ है, वहां लगे कैमरे के फुटेज भी मददगार साबित हो रहे हैं।

काउंसलिंग पर जोर

महिला अपराध शाखा गुमशुदा बच्चों की काउंसलिंग पर अधिक जोर दे रहा है। एसीपी शर्मा की मानें तो नाबालिग बच्चे को हर बात सीधे समझ नहीं आती। उदाहरण के तौर पर उन्हें बताएं कि महिलाएं विभिन्न क्षेत्र में पहचान बना रही हैं। उनकी तरह आप भी कॅरियर की दिशा तय करें। पढ़-लिखकर माता-पिता का नाम रोशन करें।

Hindi News / Indore / कोई परिचित आपके बच्चे को ‘चॉकलेट’ खिला रहा तो Alert ! आ सकती है बड़ी मुसीबत

Copyright © 2024 Patrika Group. All Rights Reserved.