भाजपा को वोट देने के बाद समीना बी के साथ परिवार ने मारपीट की जिससे पिछले तीन दिनों से प्रदेश का राजनीतिक माहौल गरमाया हुआ था। सीएम हाऊस पर समीना से तत्कालीन मुख्यमंत्री शिवराजसिंह चौहान से मुलाकात की और सुरक्षा का आश्वासन भी दिया, लेकिन इंदौर शहर की छह विधानसभाओं में आए परिणाम का आकड़ा ही कुछ अलग बया कर रहा है। यहां पर मुस्लिम वार्डो की वजह से कांग्रेस की प्रतिष्ठा बच गई तो सरकार की लाड़ली बहना योजना भी यहां पर बेअसर रही ।
चौकाने वाली बात ये है कि लाड़ली बहनाओं ने भाजपा को वोट नहीं किया। पार्टी के प्रत्याशी को उतने ही वोट मिले जितने नगर निगम चुनाव में महापौर या पार्षद के प्रत्याशी को मिले थे, कुछ जगह थोड़े ज्यादा मिले लेकिन योजना का लाभ लेने वाली लाड़ली बहना के आकड़े से वह संख्या काफी कम है। इसका साफ अर्थ है कि इंदौर की मुस्लिम बहनाओं ने भाजपा को वोट नहीं देते हुए कांग्रेस या अन्य प्रत्याशी का साथ दिया। ऐसा भी नहीं कि महिलाओं ने वोटिंग कम की। सभी मुस्लिम बूथ व वार्डों की गणना में सामने आए आकड़ों के हिसाब से पुरुष व महिला मतदान में थोड़ा बहुत ही अंतर है।
वार्ड के हिंदू मतदाताओं ने दिए वोट
वार्डवार हार-जीत का आकलन लगाया गया जिसमें हारने वाले बूथों की भी समीक्षा की गई। एक चौकाने वाली बात ये भी सामने आई कि कांग्रेस के जीतने वाले नौ मुस्लिम बहुल्य वार्डों में भाजपा को कुछ जगहों पर वोट मिले है। उनकी जांच पड़ताल की गई तो खुलासा हुआ कि भाजपा को मिलने वाले बूथों पर हिंदू परिवार भी निवास करते है। पांच नंबर विधानसभा के खजराना वार्ड 38 के बूथ नंबर 111 क बूथ पर भाजपा को 403 वोट मिले जबकि कांग्रेस को 187 से संतोष करना पड़ा। इस बूथ पर हिंदू आबादी रहती है। इसी प्रकार तीन नंबर विधानसभा के वार्ड 58 के हिंदू बहुल्य मतदान केंद्रों से भाजपा को एक तरफा वोट मिले है।
विधानसभा चुनाव में सिर्फ इन वार्डों में जीती कांग्रेस
वार्ड – अंतर – लाड़ली बहना – 2023 में भाजपा के वोट – 2022 में पार्षद प्रत्याशी को मिले वोट
वार्ड 2 – 10,721 – 3154 – 402 – 298
वार्ड 8 – 4,011 – 2151 – 6770 – 4084
वार्ड 38 -14,427 – 3546 – 1857 – 896
वार्ड 39 -18,749 – 3939 – 551 – 206
वार्ड 53 -16,145 – 4027 – 1220 – 508
वार्ड 58 – 3,277 – 2855 – 5413 – 5711
वार्ड 60 – 6,353 – 2110 – 3086 -3144
वार्ड 68 – 4,773 – 1708 – 1833 -2042
वार्ड 73 – 6285 – 1373 – 1849 -2402