शहर से 15 किमी दूर बामनिया कुंड में शुक्रवार दोपहर रोमित पिता रघुनंदन वर्मा (22) निवासी सिहोर व अभिजीत पिता झामसिंह बारेस्कर (21) निवासी मानसिंहपुरा बैतूल अपने पांच दोस्त विजेंद्रसिंह, सचिन पटेल, अंशुल धुर्वे, शुभम साहू, मदनमोहन चौकसे सभी निवासी होशंगाबाद के साथ पार्टी मनाने पहुंचे। वे कुंड में नहा रहे थे।
इसी दौरान रोमित व अभिजीत डूबने लगे, साथियों ने अभिजीत को बाहर निकाला। हालांकि, तब तक उसकी मौत हो गई थी, वहीं रोमित नहीं मिला। सूचना पर पहुंची पुलिस ने गोताखोरों की मदद से रोमित का शव बाहर निकलवाया। साथियों ने बताया, वे इंदौर में भंवरकुआं के एक होस्टल में रहकर पढ़ाई करते हैं। रोमित पीएससी की तैयारी कर रहा था।
एक माह में चौथी मौतबामनिया कुंड में डूबने से एक माह में यह चौथी मौत है। कुछ दिन पूर्व
जयपुर के एक युवक की यहां डूबने से मौत हुई, इससे पहले खरगोन के धूलकोट निवासी युवक की डूबने से मौत हुई। लगातार यहां दुर्घटनाएं हो रही हैं, लेकिन प्रशासन की ओर से कुंड के आसपास चेतावनी का कोई बोर्ड तक नहीं लगाया गया। साथ ही युवा भी यहां खाई में उतरने व कुंड में नहाने से परहेज नहीं कर रहे।
खतरनाक बनते जा रहे स्पॉट
इंदौर के कुछ पिकनिक स्पॉट लगातार खतरनाक बनते जा रहे हैं। बामनिया कुंड, चोरल और तिंछा फॉल जैसी जगहों पर पुलिस द्वारा सुरक्षा के इंतजाम भी किए गए हैं लेकिन इसके बाद भी इन जगहों पर हादसे थमने का नहीं ही नहीं ले रहे हैं। गर्मी का सीजन आते ही यह सभी जगह पर्यटकों के लिए पहली पसंद बन जाती हैं।
इसे देखते हुए यहां पर अतिरिक्त सुरक्षा प्रयास करने की जरूरत है लेकिन इसी के अभाव में यह घटनाएं हो रही हैं। दूसरा यहां पर की जाने वाली पार्टी, शराबखोरी भी इन हादसों की प्रमुख वजह बनती है। इन सब कारणों से यहां पर हादसे थम नहीं रहे हैं।