दो साल पुराने फेसबुक पोस्ट ने लड़की को डाला मुसीबत में, लिखी थी ऐसी बात अब पुलिस में पहुंचा मामला
एक मीडिया वेबसाइट के मुताबिक, ऑफिसर अजयशंकर आज से नहीं बल्कि सन 1993 से ये काम करते आ रहे हैं। सन 1993 में वो आगरा में सब-डिविजनल मजिस्ट्रेट के तौर पर कार्यरत थे। उनके कार्यकाल के दौरन एक बार सफाई कर्मचारी स्ट्राइक पर चले गए। फिर क्या था अगले दिन वो खुद झाड़ू लेकर दफ्तर पहुंच गए। आज स्वच्छता उनका मिशन बन चुका है। एक मीडिया चैनल को इंटरव्यू देते समय उन्होंने बताया कि जब सफाई कर्मचारी हड़ताल पर गए थे तो उन्होंने उनकी समस्या सुलझाने के बहुत कोशिश की थी लेकिन उन्होंने काम पर न लौटने की ज़िद पकड़ ली थी।
…तो इसलिए वकील पहनते हैं काला कोट और सफेद रंग की शर्ट
उन्होंने फिर तय किया कि आखिरकार कचरा हम ही फैलाते हैं तो उसे साफ करने में हमें कोई शर्म महसूस नहीं करनी चाहिए। आज वे सफाई को लेकर सबसे सामने एक उदाहरण हैं। बता दें कि डॉक्टर अजयशंकर आज के समय में गाजियाबाद के जिलाधिकारी हैं। उनके स्वच्छता मिशन को देखते हुए दूसरे अफसरों ने भी शहर के अलग-अलग क्षेत्र में स्वच्छता अभियान चलाया। बता दें कि डॉ. अजय आपने ऑफिस के समय से 10 मिनट पहले ही पहुंच जाते हैं और अपने केबिन की सफाई खुद करते हैं। एक इंटरव्यू के दौरान उन्होंने कहा था कि- ‘सफाई केवल महिलाओं का काम नहीं, देश के लोग ये मान बैठे हैं कि साफ-सफाई एक ही शख्स का काम है। हमें ये सोच बदलनी होगी।’