राजनीतिज्ञ दिग्विजय सिंह ( Digvijaya Singh ) ने भी महिलाओं को लेकर विवादित बयान दिए हैं। एक पार्टी कार्यक्रम में उन्होंने जयंती नटराजन को ‘टंच माल’ कह दिया था। दिग्विजय ने एक बार राखी सावंत पर टिप्पणी करते हुए कहा था कि “अरविंद केजरीवाल और राखी सावंत जितना एक्सपोज करने का वादा करते हैं उतना करते नहीं हैं।”
समाजवादी पार्टी के संस्थापक व संरक्षक मुलायम सिंह ( Mulayam Singh Yadav ) यादव ने एक रैली को संबोधित करते हुए कहा था कि, “जब लड़के और लड़कियों में कोई विवाद होता है तो लड़की बयान देती है कि लड़के ने मेरा बलात्कार किया। इसके बाद बेचारे लड़के को फांसी की सजा सुना दी जाती है। बलात्कार के लिए फांसी की सजा अनुचित है। लड़कों से गलती हो जाती है।” मुलायम सिंह यादव के इस बयान के बाद लोगों ने उनकी कड़ी निंदा की।
राजनीतिक पार्टी जनता दल (यूनाइटेड) के पूर्व राष्ट्रीय अध्यक्ष शरद यादव ( Sharad Yadav ) ने एक बार बयान दिया था कि “बेटियों की इज्जत से वोट की इज्जत बड़ी है।” जिसके बाद हर किसी ने उनके बयान का खंडन किया था। इतना ही नहीं शरद यादव ने साउथ की महिलाओं को लेकर कहा था, “साउथ की महिला जितनी ज्यादा खूबसूरत होती है, जितना ज्यादा उसकी बॉडी…” वह पूरा देखने में काफी सुंदर लगती है। वह नृत्य जानती है” इसके साथ ही साल 2015 महिला आरक्षण विधेयक जब पहली बार संसद में रखा गया था तब उन्होंने कहा था कि, इस विधेयक के जरिए क्या आप ‘परकटी महिलाओं’ को सदन में लाना चाहते हैं। और इसके बाद उन्होंने अपने पर माफी मांगने से इंकार भी कर दिया था।
राज्यसभा सांसद सुब्रमण्यम स्वामी ( subramanian swamy )ने एक बार प्रियंका गांधी के लिए कहा था, “वह बनारस से चुनाव हार जाएंगी क्योंकि बहुत शराब पीती हैं।” बता दें कि सुब्रमण्यम स्वामी नेहरू और लेडी माउंटबेटन के संबंधों पर भी स्वामी विवादित टिप्पणी कर चुके हैं।
हरियाणा के खाप पंचायत नेता जितेंद्र छत्तर ने कहा था, “मेरे ख़्याल से फास्ट फूड खाने से बलात्कार की घटनाएं बढ़ती हैं। चाऊमीन खाने से शरीर के हार्मोन में असंतुलन पैदा होता है। इसी वजह से इस तरह के कार्य करने का मन करता है।”