1. अर्ध पवनमुक्तासन
फर्श पर आसन बिछाकर उस पर सीधे लेट जाएं। अब अपने बाएं पैर को छाती की तरफ मोड़ते हुए ले आएं और फिर दोनों हाथों से इस इस पैर को पकड़ें। थोड़ी देर रुकने के बाद हाथों को पैर से हटाकर जमीन पर रख लें और पैर को धीरे-धीरे जमीन पर ले जाएं। यही क्रिया अपने दाहिने पैर से भी दोहरानी है। इसे आप 4-5 बार कर सकते हैं।
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2. मरकटआसन
चटाई बिछाकर उस पर पीठ के बल लेट जाएं। और घुटनों को मोड़ लें। दोनों हाथों को कंधे की सीध में फैला कर रख रख लें। इसके बाद दोनों पैरों को एक साथ दाईं तरफ ले जाते हुए चटाई तक ले जाने की कोशिश करें। जबकि सिर को इसके विपरीत दिशा में यानी पूरा बाईं ओर मोड़ें। थोड़ी देर रुक कर पैरों को वापस लाएं। और फिर बाई ओर ले जाते हुए यही प्रक्रिया दोहराएं।
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3. उतानपादासन
जमीन पर आसन बिछाकर सीधे लेट जाएं। अब अपने दोनों पैरों को एक साथ मिलाएं और धीरे-धीरे एक साथ ऊपर उठाने की कोशिश करें। ध्यान रखें कि आपको बहुत ज्यादा ऊपर तक पैरों को नहीं उठाना है। केवल जमीन से 30 डिग्री तक उठाएं। थोड़ी देर रुक कर फिर सांस छोड़ते हुए वापस पैरों को नीचे ले आएं। इसे तीन बार दोहराएं। फिर पैरों को जमीन से 60 डिग्री तक ऊपर उठाएं और इस क्रिया को भी तीन बार दोहराएं।
4. अर्ध हलासन
जमीन पर आसन बिछाकर उस पर सीधे लेट जाएं। अब अपने दोनों पैरों को साथ में जमीन से 90 डिग्री का कोण बनाते हुए पूरा ऊपर की ओर ले जाएं। यानी कि आपके पैरों के पंजे आंखों की सीध में होने चाहिए। अब इसी पोजीशन में पंजों को ऊपर-नीचे करते हुए मोड़ें। इस क्रिया के दौरान पैर की पिंडलियों में हल्का दर्द महसूस हो सकता है। 4-5 बार पंजों को ऊपर-नीचे करके पैरों को धीरे-धीरे नीचे लाते हुए चटाई पर टिका लें।
5. सेतुबंधासन
पीठ के बल चटाई पर पर लेट जाएं। घुटनों को मोड़ते हुए दोनों पैरों को कूल्हे के समीप रख कर दोनों हाथों से टखने को पकड़ लें। इसके बाद धीरे-धीरे पूरे शरीर को ऊपर की ओर उठाएं। इसी पोजीशन में जितनी देर रूक सकते हैं, रूकें। और फिर पीठ को धीरे-धीरे जमीन पर लाकर पैर सीधे करके लेट जाएं। तीन-चार बार इस प्रक्रिया को दोहराएं।