नारायणा हॉस्पिटल, जयपुर के सीनियर रोग गुर्दा विशेषज्ञ डॉ. कमल कस्वां ने किडनी रोग (Kidney disease) के लक्षण और कारण के बारे में बताया कि किडनी की बीमारी (Kidney disease) से ग्रसित व्यक्ति में इसके लक्षण धीरे-धीरे तीव्र होते हैं। किडनी के सुचारू रूप से कार्य न कर पाने के कारण तरल पदार्थ का निर्माण या शरीर में अपशिष्ट या इलेक्ट्रोलाइट से जुड़ी हुई समस्याएं हो सकती हैं। कई बार शरीर में अन्य बीमारियां, जैसे हाई ब्लड प्रेशर (High blood pressure) और टाइप 2 डायबिटीज के कारण भी आपको किडनी रोग के लक्षण दिखने लगते हैं।
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सामान्य तौर पर किडनी रोग के दौरान ग्रसित व्यक्ति को भूख में कमी, थकान, कमजोरी, मांसपेशियों में ऐंठन और दर्द, जी मिचलाना और उल्टी, नींद की समस्या, त्वचा में खुजली, पैरों में सूजन, इसके आलावा गंभीर लक्षणों में यूरिन संबंधी समस्याएं जैसे बार-बार यूरिन आना, यूरिन से ब्लड आना जैसी समस्याएं हो सकती हैं।
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सामान्य तौर पर किडनी रोग के दौरान ग्रसित व्यक्ति को भूख में कमी, थकान, कमजोरी, मांसपेशियों में ऐंठन और दर्द, जी मिचलाना और उल्टी, नींद की समस्या, त्वचा में खुजली, पैरों में सूजन, इसके आलावा गंभीर लक्षणों में यूरिन संबंधी समस्याएं जैसे बार-बार यूरिन आना, यूरिन से ब्लड आना जैसी समस्याएं हो सकती हैं।
किडनी रोग (Kidney) के कारण भी कई तरह के हो सकते हैं इसके कारणों में डायबिटीज, हाई ब्लड प्रेशर, किडनी स्टोन, यूटीआई होना, महिलाओं में गर्भावस्था, किसी अन्य रोग के कारण शरीर की प्रतिरोधक क्षमता का कमजोर हो जाना, पुरुषों में बढ़ा हुआ प्रोस्टेट और असंतुलित जीवन शैली की आदत जैसे कारण शामिल हैं। इसलिए किडनी रोग के लक्षणों के प्रति सतर्कता बहुत जरूरी है।
नारायणा हॉस्पिटल, जयपुर के गुर्दा रोग विशेषज्ञ डॉ. रवि कुमार ने किडनी रोग से बचाव के बारे में कहा कि शरीर में टॉक्सिंस की मात्रा बढ़ जाने से किडनी की कार्य प्रणाली प्रभावित होती है, इसलिए कोशिश करनी चाहिए कि शरीर अधिक से अधिक हाइड्रेटड रहे, जिसके लिए आप पूरे दिन में दो से तीन लीटर पानी तो अवश्य पिएं, तभी किडनी को टॉक्सिंस फिल्टर करने में मदद मिलेगी। किडनी की बेहतर हेल्थ के लिए एंटीऑक्सीडेंट, विटामिन और फाइबर बहुत जरूरी हैं, इसलिए आप नियमित आहार में इन पोषक तत्वों से भरपूर खाद्य पदार्थ जैसे सेब, जामुन, स्ट्रॉबेरी, पालक, अन्य हरी पत्तेदार सब्जियां और फल, साबुत गेहूं, क्विनोआ और भूरे चावल आदि को जरूर शामिल करें।
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अधिक मात्रा में प्रोटीन के सेवन Consume excessive amounts of protein) और दर्द निवारक दवाइयों के प्रयोग से बचें क्योंकि इनसे किडनी पर दबाव और नकारात्मक प्रभाव पड़ता है। हाई ब्लड प्रेशर और डायबिटीज (Diabetes) के रोगी शरीर में नियमित ब्लड प्रेशर और ब्लड शुगर की जांच करते रहें साथ ही व्यायाम को भी अपनी नियमित जीवन शैली का हिस्सा बनाएं। किडनी रोग के शुरुआती लक्षणों को नजरअंदाज बिल्कुल भी ना करें, कोई भी समस्या महसूस होने पर जल्द से जल्द नेफ्रोलॉजिस्ट से संपर्क करें।