शोध क्या कहता है?
मद्रास डायबिटीज रिसर्च फाउंडेशन (एमडीआरएफ) द्वारा किए गए एक अध्ययन के अनुसार,
मधुमेह रोगियों (Diabetic patients) के लिए कॉफी और चाय में चीनी की जगह नॉन-न्यूट्रिटिव स्वीटनर्स (Non-nutritive sweeteners) का इस्तेमाल करना फायदेमंद हो सकता है। इस अध्ययन में सुक्रालोज नामक एक नॉन-न्यूट्रिटिव स्वीटनर का इस्तेमाल किया गया था।
क्या हैं नॉन-न्यूट्रिटिव स्वीटनर्स? What are non-nutritive sweeteners?
नॉन-न्यूट्रिटिव स्वीटनर्स (Non-nutritive sweeteners) वे पदार्थ होते हैं जो चीनी की तरह मीठे होते हैं लेकिन इनमें कैलोरी की मात्रा बहुत कम होती है या बिल्कुल नहीं होती। ये स्वीटनर्स आमतौर पर कृत्रिम रूप से बनाए जाते हैं और इनका उपयोग खाद्य पदार्थों और पेय पदार्थों में मीठा स्वाद लाने के लिए किया जाता है। Good news for diabetes patients अध्ययन के प्रमुख निष्कर्ष
- ब्लड शुगर पर कोई प्रतिकूल प्रभाव नहीं: अध्ययन में शामिल मधुमेह रोगियों (Diabetes patients) में सुक्रालोज का इस्तेमाल करने से उनके ब्लड शुगर के स्तर पर कोई नकारात्मक प्रभाव नहीं देखा गया।
- वजन घटाने में मदद: सुक्रालोज का इस्तेमाल करने वाले लोगों का वजन, कमर की परिधि और बॉडी मास इंडेक्स में थोड़ा सुधार हुआ।
- कैलोरी कम होती है: नॉन-न्यूट्रिटिव स्वीटनर्स में कैलोरी की मात्रा बहुत कम होती है, जिससे कैलोरी का सेवन कम करने में मदद मिलती है।
क्या हैं इस अध्ययन के महत्व?
यह अध्ययन मधुमेह रोगियों (Diabetes patients) के लिए एक नई उम्मीद की किरण है। यह बताता है कि नॉन-न्यूट्रिटिव स्वीटनर्स (Non-nutritive sweeteners) मधुमेह रोगियों के लिए एक सुरक्षित और प्रभावी विकल्प हो सकते हैं। हालांकि, इस विषय पर और अधिक शोध की आवश्यकता है।
कुछ महत्वपूर्ण बातें
- सभी नॉन-न्यूट्रिटिव स्वीटनर्स एक जैसे नहीं होते: विभिन्न प्रकार के नॉन-न्यूट्रिटिव स्वीटनर्स उपलब्ध हैं और इनके प्रभाव अलग-अलग हो सकते हैं।
- डॉक्टर से सलाह लें: किसी भी नए स्वीटनर का इस्तेमाल करने से पहले अपने डॉक्टर से सलाह लेना जरूरी है।
- संतुलित आहार: नॉन-न्यूट्रिटिव स्वीटनर्स का इस्तेमाल करने के साथ-साथ संतुलित आहार लेना और नियमित व्यायाम करना भी बहुत जरूरी है।
मधुमेह रोगियों (Diabetic patients) के लिए मीठा खाने की चाहत को पूरा करने के लिए नॉन-न्यूट्रिटिव स्वीटनर्स (Non-nutritive sweeteners) एक आशाजनक विकल्प हो सकते हैं। हालांकि, इस विषय पर और अधिक शोध की आवश्यकता है। मधुमेह रोगियों को अपने डॉक्टर से सलाह लेकर ही किसी भी नए स्वीटनर का इस्तेमाल करना चाहिए।