यह भी पढ़ें
हिंदू महासभा का ऐलान, मस्जिद में लगाएंगे कृष्ण की मूर्ति
उन्होंने बताया कि पूर्णिमा तिथि गुरुवार को दिन में 11.19 बजे से शुक्रवार दिन में लगभग 1.04 बजे तक रहेगी। कृतिका नक्षत्र, परिघ योग,भव करण रहेगा। इसके अलावा वृष राशि में चंद्रमा व राहु, वृश्चिक राशि में सूर्य व केतु तथा तुला राशि में मंगल व बुध ग्रह का प्रवेश होगा। पंडित अनिल शास्त्री ने बताया कि ऐसा अद्भुत संयोग 580 वर्ष के बाद बन रहा है। इससे कार्तिक पूर्णिमा का महत्व और अधिक बढ़ जाता है वहीं दीपदान करने से धन, वैभव और कीर्ति में वृद्धि होगी। इस दिन दीपदान करने से कर्ज व समस्त संकटों से मुक्ति मिलेगी। कार्तिक पूर्णिमा पर तुलसी के पौधे के आगे दीपक जलाकर भगवान विष्णु की पूजा करने से माता लक्ष्मी प्रसन्न होती हैं। इससे घर की दरिद्रता दूर होती है। कार्तिक पूर्णिमा पर दीपदान करने से लंबी आयु, धन-वैभव की प्राप्ति होती है। व्रत रखकर भगवान विष्णु, शिव का स्मरण करने से सूर्यलोक की प्राप्ति होती है।