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वहीं मार्च 2019 में डिपॉजिट की रकम 3३ लाख 93 हजार 177 करोड़ थी। इसके साथ ही लोन यानी एडवांस के आंकड़े देखें तो मार्च 2020 की तुलनामें मार्च 2021 में 26 हजार 464 करोड़ अधिक एडवांस लिए गए हैं, जो एक साल में 8 फीसदी अधिक है।
सालभर में 74 नई शाखाएं खुलीं
एक साल में बैंकिंग नेटवर्क में भी बढ़ोतरी हुई है। यहां 74 नई बैंक शाखाएं खुली हैं। मार्च 2020 में 7,958 शाखाएं थीं, जो मार्च 2021 में 9453 हो गईं।
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अर्थ व्यवस्था के लिए ठीक नहीं
राज्य स्तरीय बैंकर्स कमेंटी के कन्वीनर एसडी माहुरकर के मुताबिक कौरोना काल में लोग चाहकर भी खर्च नहीं कर पाए थे, इसके साथ ही वक्त-बेवक्त रुपयों की जरूरत ने भी लोगों को बैंकों से रुपए निकालने से रोका। इन कारणों से प्रदेश की बैंकों में साल भर में 655 हजार 132 करौंड अधिक रुपया जमा हो गया, जो अर्थव्यवस्था के लिए ठीक नहीं।
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गर्ल्स कॉलेज मुरार के अर्थशास्त्र विभागाध्यक्ष प्रो. केके श्रीवास्तव का कहना है कि कोरोना काल में लोगों मेंबचत की आदत बढ़ी है, जो अर्थव्यवस्था के लिए नुकसानदेह है। इससे मंदी का माहौल भी बनता है। पैसों का प्रवाह बना रहना चाहिए।