जनवरी से अप्रेल तक अवैध हथियारों का ग्राफ
शहर आम्र्स एक्ट केस एक्साइज एक्ट
ग्वालियर 194 551
शिवपुरी 94 204
गुना 117 228
अशोकनगर 98 44 पु लिस अधिकारी मानते हैं कि अवैध हथियारों के इस्तेमाल का ग्राफ संगीन अपराधों से कई गुना ज्यादा है। ज्यादातर वारदातें इन अवैध हथियारों के बूते पर हुई हैं। इन हथिायरों पर कंट्रोल हो जाए तो हत्या, लूट, डकैती और अपहरण जैसी वारदातों पर काफी हद तक कंट्रोल किया जा सकता है। पिछले कुछ समय में अपराधियों में तमंचे, कट्टे से ज्यादा सेल्फ लोडेड बैपन का शौक बढ़ा है। इसमें शार्प शूटर्स, कुख्यात अपराधी हाई क्वालिटी ऑटोमेटिक हथियार का इस्तेमाल कर रहे हैं। जबकि शहरी बदमाशों में कंट्री मेड बैपन की डिमांड ज्यादा है, इसलिए सिकलीगर्स के अड्डों पर ऐसे हथियारों की बुकिंग की कतार है। इसी तरह स्मैक, कोकीन के अलावा
अवैध शराब के पंरपरागत धंधे की जड़ें अब
भी मजबूत हैं।
शहर आम्र्स एक्ट केस एक्साइज एक्ट
ग्वालियर 194 551
शिवपुरी 94 204
गुना 117 228
अशोकनगर 98 44 पु लिस अधिकारी मानते हैं कि अवैध हथियारों के इस्तेमाल का ग्राफ संगीन अपराधों से कई गुना ज्यादा है। ज्यादातर वारदातें इन अवैध हथियारों के बूते पर हुई हैं। इन हथिायरों पर कंट्रोल हो जाए तो हत्या, लूट, डकैती और अपहरण जैसी वारदातों पर काफी हद तक कंट्रोल किया जा सकता है। पिछले कुछ समय में अपराधियों में तमंचे, कट्टे से ज्यादा सेल्फ लोडेड बैपन का शौक बढ़ा है। इसमें शार्प शूटर्स, कुख्यात अपराधी हाई क्वालिटी ऑटोमेटिक हथियार का इस्तेमाल कर रहे हैं। जबकि शहरी बदमाशों में कंट्री मेड बैपन की डिमांड ज्यादा है, इसलिए सिकलीगर्स के अड्डों पर ऐसे हथियारों की बुकिंग की कतार है। इसी तरह स्मैक, कोकीन के अलावा
अवैध शराब के पंरपरागत धंधे की जड़ें अब
भी मजबूत हैं।
शहर की सिंधिया नगर पहाड़ी, संजय नगर, माधौनगर बस्ती, तिघरा रोड पर बस्ती, कृष्णा नगर पहाड़ी, बदनापुरा, जलालपुर, महाराजपुरा की आउटर बस्तियां खंजाची बाबा की दरगाह पहाड़ी, कैंसर पहाड़ी, सत्यनारायण की पहाड़ी की बस्ती सहित कई इलाकों में शराब तस्कर हॉकर्स के जरिए देसी शराब डोर टू डोर तक मुहैया करा रहे हैं। इसके अलावा देहात में अवैध शराब की खपत में भी लगातार इजाफा हो रहा है।
केस माइनर, अपराध संगीन कानून की नजर में अवैध हथियार रखना और गैर लाइसेंस की शराब के साथ पकड़े जाने पर माइनर एक्ट की कार्रवाई होती है। इसका फायदा अपराधी को मिलता है कि अवैध शराब या हथियार के साथ पकड़े जाने पर उनका अपराध मामूली मानकर राहत दी जाती है। लेकिन हत्या, लूट और रेप की ऐसी तमाम घटनाएं दहशत का सबब रही हंै जिनमें नशे के सुुरूर में अवैध हथियारों के बूते पर अपराधियों ने संगीन वारदात की हैं।
एंड यूजर्स पर कार्रवाई से कंट्रोल : हथियार और शराब के अवैध कारोबार पर कंट्रोल के लिए पुलिस तमाम दावे करती है। हाल ही में अवैध हथियारों के कारोबार को बस्र्ट करने के लिए प्रदेश स्तर पर एसटीएफ और पुलिस अफसरों के बीच मंथन में तय हुआ था कि अवैध हथियार के साथ पकड़े जाने वाले आरोपियों से इंट्रोगेशन में एंड यूजर्स का सुराग पूछा जाएगा, उससे अवैध हथियार बनाने वालों से खरीदने वालों तक की कुंडली सामने होगी। लेकिन कवायद सिर्फ बातों तक रह गई। नशे और हथियारों के बूते पर अपराधों में इजाफे को लेकर लोगों का भी कहना है कि पुलिस अवैध नशे और हथियार के साथ पकड़े जाने वालों से उनकी आखिरी कड़ी का राज उगलवाए तो इन धंधों पर काफी काबू पाया जा सकता है।
पूछताछ की जाती है
-अवैध हथियार और अवैध शराब की तस्करी करने वालों की लगातार धरपकड़ की जा रही है। जो आरोपी पकड़े गए हैं उनसे एंड यूजर्स तक पहुंचने के लिए पूछताछ की जाती है।
पंकज पांडेय, एडिशनल एसपी, क्राइम
-अवैध हथियार और अवैध शराब की तस्करी करने वालों की लगातार धरपकड़ की जा रही है। जो आरोपी पकड़े गए हैं उनसे एंड यूजर्स तक पहुंचने के लिए पूछताछ की जाती है।
पंकज पांडेय, एडिशनल एसपी, क्राइम