शिक्षा विभाग ने ओमकारनाथ उपाध्याय को वर्ष 2005 में प्रायमरी स्कूल में हेडमास्टर के पद पर पदोन्नत किया था। उपाध्याय को कुछ समय बाद लेक्चरर पद पर नियुक्त किया गया। उन्हें पदोन्नति दिए जाने के बाद भी मूलभूत नियम – 22 डी एवं क्रमोन्नति का लाभ नहीं दिया गया। इसके चलते उपाध्याय ने 2011 हाईकोर्ट में याचिका दायर की। कोर्ट ने मार्च 2017 में पदोन्नति का लाभ देने का आदेश दिया, लेकिन शासन ने इस आदेश के खिलाफ रिव्यू पिटीशन भी दायर की। कोर्ट ने रिव्यू पिटीशन में आदेश में कोई बदलाव नहीं किया। इसी बीच उपाध्याय ने हाईकोर्ट में अवमानना याचिका दायर की। दतिया के जिला शिक्षा अधिकारी उदित नारायण मिश्रा ने बताया कि तकनीकी दिक्कत की वजह से आदेश का पालन नहीं हो सका। 24 हजार 432 रुपए बतौर एरियर खाते में स्थानांतरित कर दिए हैं। कोर्ट इस जवाब से असंतुष्ट रहा।