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ट्रेन रुकने पर ट्रेन में चल रहे आरपीएफ के दो हेड कांस्टेबल करताल सिंह और लाखन सिंह ने एसी कोच एचए-१ के गेट को खोलकर चेन पुलिंग करने वालों को पकडऩे का प्रयास किया तो गेट पर कुछ हथियार बंद बदमाश लटके दिखाई दिए। आरपीएफ जवानों को देखकर बदमाशों ने गाली गलौच करते हुए ट्रेन से कूदकर पत्थर फेंकना शुरू कर दिए। इस पर हेड कांस्टेबलों ने अपनी बंदूक से एक के बाद एक चार फायर किए। फायर होते ही करीब ६ बदमाश जंगलों में भाग निकले।बड़ी खबर : अब ये होंगे अटल बिहारी वाजपेयी की करोड़ों रुपयों की संपत्ति के मालिक
जानकारी मिलने पर घटना के कुछ देर बाद ग्वालियर से आरपीएफ के सहायक कमांडेंट घनश्याम मीणा, टीआइ आंनद पांडेय, एसआइ अमित मीणा और डबरा प्रभारी नंद लाल मीणा मय फोर्स के जंगलों में पहुंचे और आसपास के क्षेत्रों में बदमाशों की सर्चिंग की। सूचना मिलते ही डबरा पुलिस भी मौके पर पहुंच गई। ट्रेन में एचए-१ कोच में दो यात्री और एस-1 कोच में 22 यात्री ग्वालियर के थे।बड़ी खबर : भोपाल से वर्दी खरीद कर बना फर्जी आईपीएस,टीआई को लगाई फटकार,देखें वीडियो
एस-वन के बाद एसी कोच में चेन पुलिंग
अनंत पेठ निकलते ही बदमाशों ने पहले दो बार एस-१ कोच में चेन पुलिंग की, इसके बाद जब ट्रेन चल दी तो एचए-१ कोच में चेन पुलिंग की, जिससे ट्रेन जंगल में ही खड़ी हो गई।
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ट्रेनों में आए दिन हो रहीं घटनाएंट्रेनों में आए दिन इस तरह की घटनाएं हो रही हैं। अभी ३० अगस्त को छत्तीसगढ़ संपर्क क्रांति एक्सप्रेस में रात में झांसी से ग्वालियर की तरफ ट्रेन बढऩे पर बदमाशों ने एसी कोच में घुसकर यात्रियों के साथ लूटपाट कर दी थी।
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दो जवानों ने किया मुकाबलाट्रेन में आरपीएफ के हेड कांस्टेबल करताल सिंह और लाखन सिंह ड्यूटी करते हुए बीना से ग्वालियर तक आ रहे थे। तीन बार चेन पुलिंग होने पर जवानों को लगा कि जंगल में कोई बदमाशी कर रहा है। बदमाशों के कोच के गेट पर लटके दिखने पर दोनों ने उनसे मुकाबला किया, जिससे बड़ी घटना होने से बच गई।
आधी रात को जंगल में ट्रेन रुकी तो यात्रियों की नींद खुल गई। यात्री कुछ समझ पाते उससे पहले ही फायरिंग की आवाज आने लगी, इससे एसी के साथ कुछ अन्य कोचों में बैठे यात्री यह पता लगाने में लग गए कि आखिर मामला क्या है। ग्वालियर स्टेशन पर उतरने वाले यात्री अपना सामान लेकर उतरने के लिए तैयार थे। फायरिंग की आवाज से यात्रियों में दहशत फैल गई।