ग्रेटर नोएडा

इतनी पिस्टल से मारी गई थी मुन्ना बजरंगी को गोलियां

मुन्ना बजरंगी हत्या मामले में एसटीएफ का बड़ा खुलासा

ग्रेटर नोएडाJul 12, 2018 / 12:21 pm

virendra sharma

नोएडा. कुख्यात माफिया डॉन मुन्ना बजरंगी उर्फ प्रेम प्रकाश सिंह की हत्या की जांच में तमाम जांच एजेंसी कर रही है। लेकिन अभी तक कोई स्पष्ट सुराग हत्याकांड को लेकर नहीं सामने आया है। एडीजी, डीआईजी से लेकर पुलिस के अन्य अफसर भी पूरे मामले में सुनील राठी से पूछताछ कर चुके है। शुरूआत से ही माना जा रहा है कि मुन्ना की गोली मारकर सुनील राठी ने हत्या की है। पुलिस अभी सुनील राठी का मोबाइल तक भी नहीं खोज पाई है। सीडीआर के जरिए हत्या की मुख्य वजह को तलाशने में जुटी है। बताया जा रहा है कि घटना से पहले मुन्ना बजरंगी और सुनील राठी के बीच में मुलाकात हुई थी। बातचीत का दौर काफी लंबा चला था। बाद में सुनील सोने के लिए तन्हाई बैरक में चला गया था।
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मालूम हो कि मुन्ना बजरंगी झांसी जेल से 8 जुलाई को बागपत जेल में शिफ्ट किया था। पूर्व विधायक लोकेश दीक्षित से रंगदारी मांगने के मामले में कोर्ट में पेश किया जाना था। सुत्रो की माने तो मुन्ना के जेल में पहुंचने के बाद में विक्की सुन्हैड़ा ने उसका स्वागत किया था। उसके बाद में जेल में जश्न भी मनाया गया था। एक कैदी की माने तो मुन्नी के जेल में पहुंचने के बाद में विक्की सुन्हैड़ा उसके सबसे ज्यादा करीब रहा और मिलने के पास उससे सुनील राठी भी आया था। तीनों ने बैरक में ही बैठकर शराब पी थी। बताया गया है कि सुबह करीब 3 बजे सोने के सुनील अपनी बैरक में चला गया, जबकि विक्की और मुन्ना एक ही बैरक में सोए थे।
बैरक खुलने के बाद में मुन्ना बजरंगी नहाने के लिए जा रहा था। कैदी की माने तो उसी दौरान सुनील राठी और मुन्ना बजरंगी के बीच में टेंडर को लेकर कहासुनी हुई थी। इस बीच दोनों के बीच में विक्की सुन्हैड़ा ने मामले को शांत करा दिया। बताया गया है कि इसी दौरान किसी का फोन आया था। फोन आने के बाद में सुनील इतने गुस्से में आ गया कि उसने पिस्टल से मुन्ना पर हमला कर दिया। सुत्रो की माने तो मुन्ना ने अपनी जान बचाने का प्रयास किया था, लेकिन गोली लगने के बाद वह जमीन पर गिर गया। बताया गया है कि सुनील राठी ने एक मैगजीन खाली कर दूसरी मैगजीन डाली थी। जेल में गोलियों को तड़तड़ाहट सुनने के बाद मौजूद कैदियों में भगदड़ मच गई। हालाकि कुछ कैदी अपने बैरक में चुपचाप पड़े रहे।
बागपत जेल में सुनील राठी का काफी दबदबा था। बताया गया है कि जेल में उसके दबदबे के चलते कोई भी कैदी बोलने की हिम्मत नहीं जुटाता था। यहीं वजह है कि उसकी तन्हाई बैरक में सभी कैदी आना पंसद करते थे। दरअसल में जेल में सुनील के पास में ऐशोआराम के सभी चीजें होती थी। शराब, शबाब से लेकर नशे के सभी सामान भी उसे आसानी के साथ मिल जाया करता था।
मौके से पुलिस ने किए थे 10 खोेखा बरामद

जेल में गोली चलने की सूचना मिलने के बाद में मौके पर पुलिस पहुंच गई। उधर जेल के अधिकारी व कर्मचारियों में हड़कंप मच गया। आनन-फानन में जेल के अफसर भी मौके पर पहुंच गए। बताया गया है कि उसी दौरान मुन्ना बजरंगी लहूलुहान होकर जमीन पर पड़ा हुआ था। पुलिस ने मौके से 10 खोखा कारतूस बरामद किए थे। एसटीएफ ने दावा किया था कि सुनील राठी असलहा से लैस रहता था। एसटीएफ एसपी आलोक प्रियदर्शी का कहना है कि मुन्ना बजरंगी की हत्या एक ही पिस्टल से हुई थी। सुनील अब अपनी जान बचाने के लिए पिस्टल को बजरंगी की बता रहा है। उधर पुलिस के अधिकारी मान रहे थे कि 1 से अधिक पिस्टल का यूज किया गया था, जबकि मौके पर उसके अन्य साथ भी मौजूद थे।
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